अब सरकारी कंपनी और संस्थाओं की जमीनें बेचने जा रही है सरकार, नई कंपनी का होगा ये काम
आर्थिक सर्वे में था जिक्र: इस साल आम बजट से एक दिन पहले पेश आर्थिक सर्वे में राष्ट्रीय भूमि मौद्रीकरण निगम (एनएलएमसी) के गठन का जिक्र किया गया था। सर्वे में बताया गया था कि एनएलएमसी के पास केंद्रीय सार्वजनिक उपक्रमों की 3,400 एकड़ जमीन और अन्य एसेट की बिक्री के प्रस्ताव भेजे जा चुके हैं। एमटीएनएल, बीएसएनएल, बीपीसीएल, बीएंडआर, बीईएमएल, एचएमटी लिमिटेड और इंस्ट्रूमेंटेशन लिमिटेड जैसी सरकारी कंपनियों ने भूमि मौद्रीकरण निगम के पास अपनी संपत्तियों के ब्योरे भेजे हैं।
आर्थिक सर्वे की रिपोर्ट के मुताबिक वर्ष 2021-22 से लेकर 2024-25 के दौरान केंद्र सरकार की प्रमुख एसेट की बिक्री से 6 लाख करोड़ रुपये जुटाए जाने की संभावना है। इनमें सड़कें, रेलवे, बिजली, तेल और गैस पाइपलाइन के अलावा दूरसंचार क्षेत्रों की संपत्तियां ही करीब 83 फीसदी हैं।
यह भी जानिए
हरियाणा के लिए अच्छी खबर, पानीपत से दिल्ली तक बनेगा 47 किमी का हाईवे, सफर होगा सुहाना
बंद पड़ी कंपनियों के लिए अहम: कई सरकारी कंपनियां ऐसी भी हैं जिनका रणनीतिक विनिवेश हुआ है या बंद हो गई हैं। सरकार की ओर से उठाया गया ये कदम ऐसी कंपनियों के लिए काफी अहम है। राष्ट्रीय भूमि मौद्रीकरण निगम (एनएलएमसी) सरकार के मोनेटाइजेशन कार्यक्रम को आगे बढ़ाने में मदद के साथ तकनीकी सलाह भी देगा।