Income Tax Data : टैक्सपेयर्स की संख्या में हुआ 260 प्रतिशत का ज़बरदस्त इज़ाफ़ा, 10 लाख सालाना कमाई वालों की बढ़ी गिनती 

सरकार ने हाल ही में ये खुश कर देने वाले आंकड़े पेश किया हैं जिनमे पता चलता है के इस साल 10 लाख से ज्यादा कमाई करने वालों की गिनती में वृद्धि हुई है और टैक्सपेयर्स की संख्या भी पिछले सालों के मुकाबले 260 प्रतिशत बढ़ी है 

 
 

HR Breaking News, New Delhi : बीते कुछ सालों में खासतौर से नोटबंदी के बाद से टैक्स देने वाले टैक्सपेयर्स की संख्या में जबरदस्त उछाल आया है. वजह है इनकम टैक्स विभाग का ज्यादा से ज्यादा लोगों को टैक्स के दायरे में लाने का प्रयास जो कि रंग भी लाया है. तो बीते कुछ वर्षों में टैक्स विभाग ने टैक्स की चोरी रोकने के लिए बहुत सारे कदम भी उठाये हैं. टैक्सपेयर्स के लिए सर्विसेज बढ़ी है तो साथ में अनुपालन भी बढ़ा है. जिसका नतीजा है कि मोदी सरकार के सत्ता में आने के बाद से 58 फीसदी टैक्सपेयर्स की संख्या बढ़ी है, टैक्स कलेक्शन में शानदार उछाल आया है. 

सरकार ने संसद में पूछे गए सवाल पर जवाब दिया है जिसमें ये जानकारी सामने निकलकर आई है कि एससमेंट ईयर 2015-16 से लेकर 2021-22 के बीच ऐसे इंडिविजुअल टैक्सपेयर्स जिनकी सालाना इनकम 10 लाख रुपये से ज्यादा है उनकी संख्या में जबरदस्त बढ़ोतरी देखने को मिली है. 2015-16 में 10 लाख रुपये से ज्यादा सालाना आय वाले टैक्सपेयर्स की तादाद केवल 22,54,532 थी जो 2021-22 एसेसमेंट ईयर तक 260 फीसदी की बढ़ोतरी के साथ बढ़कर 81,06,067 हो गई है. अगर 5 से 10 लाख रुपये कमाने वाले टैक्सपेयर्स की संख्या पर नजर डालें तो  इनकी संख्या 2015-16 एसेसमेंट ईयर में 53,34,381 थी जो 2021-22 एसेसमेंट ईयर में 163 फीसदी के उछाल के साथ 1,40,74,602 हो गई है. 

सरकार की ओर से पेश किए डाटा के मुताबिक 5 लाख रुपये सालाना आय वाले टैक्सपेर्य की संख्या 2015-16 एसेसमेंट ईयर में 3,23,71,825 थी जो 2021-22 एसेसमेंट ईयर तक 27 फीसदी बढ़कर 4,11,60,543 हो गई है. 2015-16 एसेसमेंट ईयर में कुल टैक्सपेयर्स की संख्या 3,99,60,738 थी जो 2021-22 एसेसमेंट ईयर में 58 फीसदी बढ़कर 6,33,38,212 टैक्सपेयर्स हो गई है. 

मोदी सरकार जब 2041-15 में सत्ता में आई थी तब पर्सनल इनकम टैक्स कलेक्शन 2,58,371 करोड़ रुपये रहा था जो 2021-22 में बढ़कर 6,73,413 करोड़ रुपये जा पहुंचा. 2014-15 वित्त वर्ष में कॉरपोरेट टैक्स कलेक्शन 4,28,924.74 करोड़ रुपये रहा था जो 2021-22 में बढ़कर 7,12,037 करोड़ रुपये हो गया. 

टीएमसी सांसद मोहुआ मोइत्रा ने लोकसभा में वित्त मंत्री से बीते 8 सालों में टैक्स स्लैब के हिसाब से पर्सनल इनकम टैक्सपेयर्स और कॉरपोरेट टैक्सपेयर्स की जानकारी मांगी जिसका जवाब वित्त राज्यमंत्री पकंज चौधरी ने दिया है. उसी जवाब में ये बातें सामने आई है.