Nirmala Sitharaman on Crypto : क्रिप्टो निवेशकों की उम्मीदों पर फिरा पानी, वित्त मंत्री ने कर दिया ये एलान 

क्रिप्टो बहुत समय से गिरावट में चल रही है जिससे निवेशकों को अरबों का नुक्सान हुआ है पर अब क्रिप्टो पर सख्ती बरतते हुए वित्त मंत्री ने ये एलान कर दिया जिससे क्रिप्टो निवेशकों की उम्मीदों पर पानी फिर गया 
 

HR Breaking News, New Delhi : क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrency) निवेश के सबसे तेजी से बढ़ते फॉर्म्स में से एक है जो कि बहुत सारे युवा निवेशकों के बीच निवेश के लिहाज से काफी लोकप्रिय है. हालांकि, भारतीय क्रिप्टो निवेशक इस वक्त कुछ मुश्किल महसूस कर सकते हैं. दरअसल भारत की G20 अध्यक्षता के दौरान क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrency Ban) पर प्रतिबंध लगाने पर विचार किया जा रहा है.

केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Union Finance Minister Nirmala Sitharaman) ने इस बारे में बताया कि सरकार भारत के G20 प्रेसीडेंसी के तहत क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrency) पर रेगुलेशन की दिशा में कैसे आगे बढ़ रही है. यह भारत में क्रिप्टो पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगाने पर सवाल खड़ा करता है.

एएनआई की रिपोर्ट के मुताबिक, निर्मला सीतारमण ने कहा, "निजी वर्चुअल एसेट से जुड़े जोखिमों को स्वीकार करते हुए, G20 देशों ने क्रिप्टो संपत्ति से निपटने के लिए एक समन्वित और व्यापक नीति एप्रोच विकसित करने के लिए एक कदम और करीब ले लिया." केंद्रीय वित्त मंत्री के अलावा, भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) के गवर्नर शक्तिकांत दास (Governor Shaktikanta Das) ने भी कहा कि भारत में क्रिप्टोकरेंसी पर प्रतिबंध से जुड़े जोखिमों को ध्यान में रखते हुए "विचार किया जाना चाहिए".

मनीकंट्रोल के मुताबिक आरबीआई गवर्नर ने कहा, "ऐसी राय व्यक्त की गई थी कि प्रतिबंध या निषेध के विकल्प पर भी विचार किया जाना चाहिए." उन्होंने आगे इस बात पर प्रकाश डाला कि भारत में क्रिप्टोकरेंसी के साथ कई वित्तीय जोखिम और अस्थिरताएं हैं.

आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास (RBI Governor Shaktikanta Das) ने आगे कहा, "अब इस तथ्य की व्यापक मान्यता और स्वीकृति है कि क्रिप्टोकरेंसी, या क्रिप्टो एसेट, या क्रिप्टो प्रोडक्ट, या आप जिस भी नाम से पुकारें, उसमें वित्तीय स्थिरता के लिए, मोनेटरी सिस्टम के लिए साइबर के लिए कई प्रमुख जोखिम शामिल हैं. सुरक्षा के मुद्दे और समग्र वित्तीय स्थिरता के लिए और उन्हें देखने की जरूरत है."

जबकि क्रिप्टो इंडस्ट्री बढ़ रहा है और निवेशकों की संख्या हर दिन बढ़ रही है, क्रिप्टो एसेट को रेगुलेट करने के लिए कोई वैश्विक नीति ढांचा नहीं है जो कई लोगों के लिए वित्तीय अस्थिरता पैदा कर सकता है. इसका मतलब यह है कि भारत सरकार और आरबीआई (RBI) आने वाले समय में क्रिप्टोकरेंसी पर नए नियम लागू करने के अलावा इस पर प्रतिबंध लगाने पर विचार कर सकते हैं.