Success Story : पहली बार में ही यूपी पीसीएस में टॉप करके अधिकारी बनते ही हटवाई बीड़ी, गुटखा की दुकान

Success Story : युपीएससी में हर साल लाखों युवा सपनों के साथ भाग लेते हैं लेकिन कुछ ही मेहनती इसमें अपने सपने पुरे कर पाते हैं। लेकिन कुछ लोग तो अफसर बनकर मिसाल ही कायम कर देते हैं, हम बात कर रहे हैं अधिकारी क्षिप्रा पाल सूर्यवंशी की इनकी हिम्मत देखकर आप भी हो जाएगें मुग्ध...
 

HR Breaking News (नई दिल्ली)। Success Story : यूपी पीसीएस 2018 में 34 रैंक लाकर एसडीएम बनने वाली क्षिप्रा पाल सूर्यवंशी बस्ती जिले के बांसगांव की रहने वाली हैं. उनके पिता ओमप्रकाश पाल छत्तीसगढ़ में आईपीएस और मां हाउसवाइफ हैं. शिप्रा अपने पेरेंट्स के साथ छत्तीसगढ़ में ही पली-बढ़ी हैं.


क्षिप्रा की स्कूलिंग छत्तीसगढ़ के रायपुर में हुई है. वह केंद्रीय विद्यालय की छात्रा रही हैं. स्कूलिंग के बाद उन्होंने ग्रेजुएशन दिल्ली यूनिवर्सिटी के सेंट स्टीफेंस कॉलेज से किया है. डीयू से ग्रेजुएशन के बाद उन्होंने जवाहर लाल नेहरू यूनिवर्सिटी से एमए किया. क्षिप्रा को फोटोग्राफी और पेंटिंग का भी शौक है.


यूपी पीसीएस 2018 उन्होंने पहले ही प्रयास में 34वीं रैंक के साथ क्लीयर किया था. इस तरह वह एसडीएम बनीं. शिप्रा ने एसडीएम बनते ही सबसे पहले स्कूल गेट पर मौजूद गुटखा, बीड़ी की दुकान को हटाने के निर्देश दिए.


क्षिप्रा पाल को देश देवा विरासत में मिली है. उनके पिता आईपीएस ओम प्रकाश पाल छत्तीसगढ़ में पुलिस उपमहानिरीक्षक के रूप में नक्सल ऑपरेशन की कमान संभाल चुके हैं. उनके भाई अच्छे क्रिकेट खिलाड़ी हैं.