wine beer : एक दिन में कितने ML शराब पीनी चाहिए, पीने वाले जरूर जान लें ये बात

शराब के शौकिनों के लिए यह खबर बड़े काम की है, क्या आज जानते है कि शराब पीने की भी एक लिमिट होती है, एक दिन में हमें सिर्फ इतने ML शराब पीनी चाहिए....

 

HR Breaking News (नई दिल्ली)।शराब पीना सेहत के लिए नुकसान नहीं... ये दावा एक मेडिकल स्टडी से हुआ है. हम हमेशा सुनते रहे हैं कि शराब शरीर के लिए जहर है, इससे न सिर्फ हमारी सेहत, बल्कि हमारी जीवनशैली भी बुरी तरह प्रभावित होती है, पर क्या ये वाकई में हकीकत है? ये सवाल आज इसलिए पूछ रहे हैं, क्योंकि एक मेडिकल रिपोर्ट ने बरसों पुरानी इस परिपाटी को तबदील ही कर दिया. आजकल के दौर में शराब लोगों की सोशल लाइफ का एक अभिन्न हिस्सा बन चुकी है, यही वजह है कि लोग कभी गम में तो कभी खुशी का इजहार करने के लिए शराब का सेवन(alcohol abuse) करते हैं... 

 

 

मगर इस रिपोर्ट में दावा किया गया है कि अगर एक तय मात्रा अनुसार शराब का सेवन किया जाए, तो वो सेहत के लिए नुकसानदायक नहीं हैं. दरअसल चाहे ड्रिंक्स कोई भी हो, उसका मुख्य साइकोएक्टिव इंग्रीडिएंट (Psychoactive Ingredients) होता है इथेनॉल, जिसे हम आम भाषा में ऐल्कोहॉल भी कहते हैं. ऐल्कोहॉल सीधा इंसान के मूड और मेंटल स्टेट पर प्रभाव पड़ता है. ऐसे में चलिए आज जानते हैं कि आखिर कैसे इस रिपोर्ट में तय मात्रा में शराब(limited amount of alcohol) के सेवन को सही बताया गया है.  

यूं समझिए... शराब का कितना सेवन सही!

हमेशा शराब का सेवन स्टैन्डर्ड ड्रिंक के साइज (Standard drink size) के मुताबिक होना चाहिए, मसलन एक स्टैन्डर्ड ड्रिंक का साइज 330 ml बीयर, 30 ml डिस्ट्रिल्ड स्प्रिट और 150 ml वाइन होता है. ऐसे में अगर इसके अनुसार शराब का सेवन किया जाए तो शरीर को होने वाला नुकसान काफी हद तक कम हो जाता है. हालांकि ध्यान इस बात का रखना है कि एक दिन में कुल 3 ड्रिंक्स ही पीना शरीर के लिए सही है, वो भी एक घंटे में सिर्फ एक ड्रिंक. यदि आप एक से ज्यादा स्टैन्डर्ड ड्रिंक पीते हैं, तो ये आपके शरीर पर नकारात्मक प्रभाव छोड़ सकती है. 

यूं नुकसान पहुंचाती है शराब

जान लें कि हम सभी के शरीर में मौजूद एक खास तरह का एंजाइम ऐल्कोहॉल डाइजेस्ट करने का काम करता है, इस एंजाइम को ऐल्कोहॉल हाइड्रोजन नेट के नाम से पहचाना जाता है. जिस किसी के लीवर में इसकी मात्रा ठीक होती है, उसे शराब ज्यादा नुकसान नहीं करती, जबकि जिन्में इसकी मात्रा कम होती है, उन्हें कई तरह की परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है.