ऐलनाबाद चुनाव प्रचार के लिए सपना ने पीछे खीचें पांव, पति वीर साहू ने ट्वीट कर दी जानकारी

HR BREAKING NEWS. हरियाणवी सिंगर व डांसर सपना चौधरी ने ऐलनाबाद उपचुनाव 2021 में भाजपा प्रत्याशी के चुनाव प्रचार से खुद को अलग कर लिया है। आपको बता दें कि सपना चौधरी द्वारा एक दिन पहले ही वीडियो जारी कर कहा गया था कि वह 25 और 26 अक्टूबर को गोविंद कांडा के चुनाव प्रचार
 

HR BREAKING NEWS. हरियाणवी सिंगर व डांसर सपना चौधरी ने ऐलनाबाद उपचुनाव 2021 में भाजपा प्रत्याशी के चुनाव प्रचार से खुद को अलग कर लिया है। आपको बता दें कि सपना चौधरी द्वारा एक दिन पहले ही वीडियो जारी कर कहा गया था कि वह 25 और 26 अक्टूबर को गोविंद कांडा के चुनाव प्रचार के लिए पहुंचेंगी। वीडियो में उन्होंने लोगों से भाजपा प्रत्याशी कांडा के लिए वोट करने की अपील भी की। अब सपना चौधरी के पति वीर साहू ने उनके चुनाव प्रचार से पीछे हटने की जानकारी दी है। उन्होंने रात को ही टवीट् किया कि ऐलनाबाद उपचुनाव प्रचार में 25, 26 अक्टूबर को हम शामिल नहीं होंगे।

सपना ने अपने वीडियो में कही थी ये बातें:

सपना चौधरी ने रविवार को वीडियो जारी किया था। इसमें उसने कहा था कि- राम राम नमस्कार। मैं हूं सपना चौधरी और मैं आ रही हूं ऐलनाबाद इलेक्शन 25 और 26 अक्टूबर को अपने बड़े भाई गोविंद कांडा जी को सपोर्ट करने के लिए तो मेरी आपसे यही प्रार्थना है कि भारी मतों में उनको विजयी बनाएं।

ग्रामीण क्षेत्र में हो सकता था नुकसान :

सपना और उनके पति ने ऐलनाबाद चुनाव से खुद को अलग करने का फैसला किसानों की नाराजगी के कारण लिया है। असल में किसान भाजपा प्रत्याशी गोविंद कांडा का उपचुनाव में जबरदस्त विरोध कर रहे हैं। ऐसे में वोट मांगने के लिए जाने पर सपना को भी भारी विरोध झेलना पड़ सकता था। चुनाव प्रचार के ऐलान के कुछ घंटे बाद ही उनके पति वीर की ओर से पीछे हटने की घोषणा इसी तरफ इशारा कर रही है कि वे किसानों की नाराजगी मोल नहीं लेना चाहते। असल में सपना के सभी प्रोग्राम ही ग्रामीण क्षेत्रों में होते हैं। किसानों का विरोध उनको भारी पड़ सकता है।

सपना आ चुकी है किसानों के साथ

सपना चौधरी पहले ही किसान आंदोलन और किसानों के साथ होने का ऐलान कर चुकी है। पिछले दिनों उन्होंने मीडिया से साक्षात्कार में कहा था कि वह तीनों कृषि कानूनों के खिलाफ चल रहे किसानों के आंदोलन में किसानों के साथ हैं। सरकार को किसानों के साथ बातचीत करके इस मसले का समाधान निकालना चाहिए। उन्होंने कहा था कि वह भले ही भाजपा में हों, लेकिन पार्टी से पहले उनके लिए किसान अहम हैं।