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Delhi NCR में बिछाई जाएगी 3 नई मेट्रो लाइन, बनेंगे 13 नए स्टेशन

New Metro in Delhi NCR : दिल्ली व एनसीआर तेजी से विकसित होता हुआ क्षेत्र है। राजधानी में तेजी से आबादी बढ़ रही है। ऐसे में लोगों को बेहतर यातायात सुविधा देने के लिए सरकार दिल्ली-एनसीआर में तेजी से मेट्रो के विस्तार कर रही है। दिल्ली में DMRC नई मेट्रो लाइन से जुड़े कई प्रोजेक्ट पर काम कर रहा है। दिल्ली वालों के लिए एक गुड न्यूज है। दरअसल, सरकार ने दिल्ली-एनसीआर में 3 नई मेट्रो लाइन (New Metro) बनाने का ऐलान किया है। आईये नीचे खबर में विस्तार से जानते हैं - 

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Delhi NCR में बिछाई जाएगी 3 नई मेट्रो लाइन, बनेंगे 13 नए स्टेशन

HR Breaking News - (Delhi NCR New Metro)। दिल्ली व एनसीआर एक बड़ा औद्योगिक शहर है। देश की कई बड़ी कंपनियां राजधानी में अपना कारोबार चल रही है ऐसे में यहां नौकरी करने के लिए लोग दूर-दूर से आते हैं जिसके चलते दिल्ली की आबादी तेजी से बढ़ रही है। ऐसे में परिवहन व्यवस्था को बेहतर करने के लिए सरकार लगातार काम कर रही है। दिल्ली में कई बड़े प्रोजेक्ट पर काम किया जा रहा है। केंद्र सरकार अब दिल्ली व एनसीआर में मेट्रो (Delhi Metro) का तेजी से विस्तार कर रही है। राजधानी में अनेकों नई मेट्रो लाइन  (New Metro Line in Delhi) का निर्माण किया गया है। 


केंद्र सरकार ने किया बड़ा ऐलान - 


अब केंद्र सरकार ने दिल्ली व एनसीआर वालों  को एक बड़ी सौगात दी है। सरकार ने दिल्ली व एनसीआर में तीन नए कॉरिडोर (Delhi New Corridor) बनाने का ऐलान किया है। इसका मकसद राजधानी में कनेक्टिविटी को मजबूत करना है और प्रदूषण को नियंत्रित करना है। इसके अलावा दिल्ली में लोगों को ट्रैफिक जाम से छुटकारा देने के लिए सरकार ने नई मेट्रो लाइन (New Metro Line Delhi NCR) निर्माण की घोषणा की है। PM नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई केंद्रीय कैबिनेट की बैठक में मेट्रो नेटवर्क के इस विस्तार के लिए 12014.91 करोड़ रुपये की परियोजनाओं को हरि झंड़ी दी गई है। 


400 KM होगा दिल्ली मेट्रो का नेटवर्क - 


बता दें कि नई मेट्रो लाइन (New Metro Line) बनाने का कार्य अलग-अलग चरणों में पूरा किया जाएगा। मेट्रो के चरण 5 (ए) के तहत तैयार की जाने वाली इन परियोजनाओं से दिल्ली वासियों को ट्रैफिक जाम से राहत मिलेगी। इस परियोजना के तहत 16 किलोमीटर लंबी मेट्रो लाइन बनाई जाएगी जिससे दिल्ली मेट्रो नेटवर्क (Delhi Metro Network) 395 किलोमीटर से बढ़कर 400 किलोमीटर हो जाएग। इन परियोजनाओं में कुल 13 नए स्टेशन का निर्माण किया जाएगा, जिनमें से तीन मेट्रो स्टेशन एलिवेटेड होंगे।

इतने दिन में पूरा होगा नई मेट्रो लाइन का कार्य - 

नए कॉरिडोर (new corridors) में रामकृष्ण आश्रम मार्ग से इंडिया गेट होते हुए इंद्रप्रस्थ, एयरोसिटी से आईजीआई टर्मिनल-1 और तुगलकाबाद से कालिंदी कुंज कॉरिडोर शामिल हैं। अधिकारियों ने जानकारी देते हुए बताया है कि नई मेट्रो लाइन (New Metro Line) के प्रोजेक्ट को पूरा करने का लक्ष्य तीन साल रखा गया है। 

प्रधानमंत्री मोदी ने कैबिनेट बैठक में तीन नई मेट्रो लाइन (New Metro Line Delhi) प्रोजेक्ट को हरि झंडी देने के बाद एक्स पर पोस्ट करते हुए कहा है कि दिल्ली मेट्रो के इस न फेज के तहत तीन नए कॉरिडोर बनने से राजधानी का मेट्रो नेटवर्क पहले से कहीं ज्यादा मजबूत होगा। जिससे भीड़-भाड़ वाले शहरों में ट्रैफिक जाम कम होगा। इसके साथ ही लोगों को यात्रा करने में भी आसानी होगी। 


नई मेट्रो लाइने के बनने से ये होंगे फायदे - 


दिल्ली व एनसीआर में तीन नए कॉरिडोर बनने से कई लाभ होंगे। राजधानी में तेजी से बढ़ता प्रदूषण कंट्रौल होगा वहीं,  वाहन ईंधन के इस्तेमाल को और कम करेंगे। फेज-5 (ए) परियोजना के मध्य दिल्ली, मजेंटा लाइन और गोल्डन लाइन के ये विस्तार से सड़कों पर ट्रैफिक जाम की समस्या कम हो जाएगी। इससे अलावा, लोगों का सफर आसान होगा। 

आरके आश्रम मार्ग-इंद्रप्रस्थ


बता दें कि आरके आश्रम मार्ग-इंद्रप्रस्थ कॉरिडोर (RK Ashram Marg-Indraprastha Corridor) 9.913 किलोमीटर लंबा होगा। इस कॉरिडोर के बनने के बाद पश्चिमी, उत्तरी और पुरानी दिल्ली की मध्य दिल्ली के साथ कनेक्टिविटी और ज्यादा मजबूत होगी। इसी लाइन पर नार्थ और साउथ ब्लाक को कनेक्ट किया जाएगा। नार्थ और साउथ ब्लाक को संग्रहालय में बदला जाना है, जिसे युगे युगीन भारत संग्रहालय कहा जाएगा। इसी लाइन पर कर्तव्य पथ के भवनों को भी कनेक्ट किया जाएगा। इस सेक्शन पर आरके आश्रम मार्ग (RK Ashram Marg), शिवाजी स्टेडियम, केंद्रीय सचिवालय, कर्तव्य भवन, बड़ौदा हाउस, इंडिया गेट, वार मेमोरियल-हाई कोर्ट, भारत मंडपम, और इंद्रप्रस्थ स्टेशन होंगे।


यह कॉरिडोर सेंट्रल विस्टा में बने कर्तव्य पथ के सभी भवनों को कनेक्टिविटी प्रदान करेगा। इससे इस क्षेत्र के कार्यालय जाने वालों और यात्रियों को सीधे कार्यालय तक पहुंचने में आसानी होगी। वह समय पर अपने कार्यालय तक पहुंच पाएंगे। इस कनेक्टिविटी के मिलने से रोजाना कार्यालय जाने वाले लगभग 60,000 कर्मचारियों और 2 लाख यात्रियों को लाभ होगा।


एरोसिटी-एयरपोर्ट टर्मनिल-1

एरोसिटी-आईजीआई एअरपोर्ट टी-1 कॉरिडोर (Aerocity-IGI Airport T-1 Corridor) 2.263 किलोमीटर लंबा होगा। इसपर एरोसिटी व एअरपोर्ट टर्मिनल-1 स्टेशन होंगे। इससे जहां एक ओर एरोसिटी से सीधे टर्मिनल-1 जाना काफी आसान हो जाएगा। वहीं, एअरपोर्ट के तीनों टर्मिनल भी मेट्रो रूट से आपस में कनेक्ट हो जाएंगे। टी-2 व टी-3 से यात्री आसानी से एरोसिटी होकर टी-1 तक आ-जा सकेंगे। अभी टी-2 व टी-3 से टी-1 जाने के लिए मेट्रो की सेवा नहीं है।

तुगलकाबाद से कालिंदी कुंज -


राजधानी में बनने वाला तीसरा कॉरिडोर तुगलकाबाद-कालिंदी कुंज कॉरिडोर  (Tughlakabad-Kalindi Kunj Corridor) 3.9 किलोमीटर लंबा होगा। इसपर तुगलकाबाद और कालिंदी कुंज स्टेशन का निर्माण किया जाएगा। इस कॉरिडोर के निर्माण के बाद नोएडा से फरीदाबाद आना जाना काफी आसान हो जाएगा। नोएडा से फरीदाबाद जाने के लिए वर्तमान में दो रूट हैं, पहला बोटेनिकल गार्डन से ब्लू लाइन (Botanical Garden to Blue Line) पर मंडी हाउस तक और फिर मंडी हाउस से वायलेट लाइन पर तुगलकाबाद होते हुए ओल्ड फरीदाबाद तक।

दूसरा, बोटेनिकल गार्डन से मैजेंटा लाइन (Botanical Garden to Magenta Line) पर कालकाजी मंदिर तक और कालकाजी मंदिर से वायलेट लाइन पर तुगलकाबाद होते हुए ओल्ड फरीदाबाद तक। अब कालिंदीकुंज से तुगलकाबाद तक नई लाइन बनने से बोटेनिकल गार्डन से यात्री मैजेंटा लाइन पर कालिंदी कुंज तक और कालिंदीकुंज से सीधे तुगलकाबाद होते हुए ओल्ड फरीदाबाद तक जा सकेंगे।


तीन कॉरिडोर के निर्माण में आएगा इतना खर्चा - 


रिपोर्ट के अनुसार सरकार ने तीनों कॉरिडोर निर्माण (Corridor construction cost) के लिए बजट को मंजूरी दे दी है। दिल्ली व एनसीआर के पहले आरके आश्रम-इन्द्रप्रस्थ कॉरिडोर को बनाने में लगभग 9,570.4 करोड़ रुपये का खर्च आएगा। इसके अलावा, दूसरा एयरोसिटी-एयरपोर्ट टर्मिनल कॉरिडोर करीब 1 -1,419.6 करोड़ रुपये में बनकर तैयार होगी। वहीं तुगलकाबाद-कालिंदी कुंज कॉरिडोर (Tughlakabad-Kalindi Kunj Corridor) की बात करें तो इसके निर्माण में लगभग 1,024.8 करोड़ रुपये का खर्च आएगा। इन तीनों कॉरिडोर के बने से कनेक्टिविटी मजबूत होगी और सफर आसान हो जाएगा। इसके अलावा, राजधानी की आर्थिक स्थिति भी सुधरेगी।