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8th Pay Commission : 1 जनवरी से बढ़ेगी कर्मचारियों की सैलरी, टर्म ऑफ रेफरेंस मंजूर, इतना हो जाएगा वेतन

8th Pay Commission Update : 8वें वेतन आयोग के लागू होने का इंतजार कर रहे एक करोड़ से अधिक केंद्रीय कर्मचारियों और पेंशनर्स के लिए बड़ा अपडेट सामने आया है। दरअसल, हाल ही में सामने आई खबर के अनुसार सरकार ने टर्म ऑफ रेफरेंस (term of reference Update) मंजूरी दे दी है। सरकारी कर्मचारियों की बेसिक सेलरी में 1 जनवरी से बढ़ौतरी होगी। आईये नीचे खबर में विस्तार से जानते है।

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8th Pay Commission : 1 जनवरी से बढ़ेगी कर्मचारियों की सैलरी, टर्म ऑफ रेफरेंस मंजूर, इतना हो जाएगा वेतन

HR Breaking News - (8th Pay Commission Latest Update)। मोदी सरकार की अधयक्ष्ता में जनवरी 2025 में आठवें वेतन आयोग के गठन को मंजूरी दी गई थी। अब तक इसके गठन को 10 महीने से ज्यादा समय हो गया है लेकिन अभी तक नया वेतन आयोग लागू नहीं किया गया है। केंद्रीय कर्मचारी और पेंशनर्स लंबे समय से आठवें वेतन आयोग के लागू होने का इंतजार कर रहे हैं। इसी बीच कर्मचारियों के लिए एक गुड न्यूज सामने आई है। दरअसल, सरकार ने टर्म ऑफ रेफरेंस (term of reference Update) मंजूरी दे दी है। सरकारी कर्मचारी इसका बेसब्री से इंतजार कर रहे थे।

टर्म ऑफ रेफरेंस (ToR) को मंजूरी -

बता दें कि सोमवार को केंद्र सरकार ने 8वें केंद्रीय वेतन आयोग के गठन से जुड़ी औपचारिक प्रक्रिया पूरी करते हुए उसके टर्म ऑफ रेफरेंस (ToR) को मंजूरी दे दी है। इसके साथ ही, पूर्व सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) जज न्यायमूर्ति रंजन प्रकाश देसाई को आयोग की अध्यक्ष नियुक्त किया गया है। सूचना एवं प्रसारण मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कैबिनेट बैठक के बाद मीडियो को जानकारी देते हुए बताया कि आयोग को अपनी सिफारिशें 18 महीनों के भीतर पेश करनी होगी। सरकार आठवें वेतन आयोग (8th Pay Commission) की सिफारिशें 1 जनवरी 2026 से लागू करेगी।

टर्म ऑफ रेफरेंस का क्या होता है रोल -

सबसे पहले यह समझते हैं कि आखिरी टर्म ऑफ रेफरेंस (term of reference) का क्या रोल होता है। बता दें कि आयोग, समिति या संस्था को काम करने के लिए सरकार द्वारा दिए गए दिशा-निर्देश और दायरा होता है। सीधे शब्दों में कहें तो टर्म ऑफ रेफरेंस यह तय करते हैं कि कोई आयोग किस विषय पर काम करेगा, कितने समय में रिपोर्ट को प्रस्तुत किया जाएगा और कर्मचारियों की मांग पर नजर रखी जाती है।

वेतन आयोग की सिफारिशें बनाते समय इन बातों का रखा जाएगा ध्यान -

1. देश की आर्थिक स्थिति और वित्तीय अनुशासन की आवश्यकता।

2. यह सुनिश्चित करना कि विकास कार्यों और कल्याणकारी योजनाओं के लिए पर्याप्त संसाधन उपलब्ध रहें।

3. गैर-योगदान आधारित पेंशन योजनाओं की लागत पर विचार।

4. राज्य सरकारों पर पड़ने वाले वित्तीय असर, क्योंकि राज्य सरकारें भी आमतौर पर केंद्र की सिफारिशों को अपनाती हैं।

5. केंद्रीय सार्वजनिक क्षेत्र (PSU) और निजी क्षेत्र के कर्मचारियों को मिलने वाले वेतन, भत्तों और कार्य परिस्थितियों की तुलना।

कब लागू होगा नया वेतन आयोग -

बता दें कि केंद्रीय कर्मचारियों और पेंशनर्स को महंगी से राहत देने के लिए सरकार हर 10 साल में नया वेतन आयोग (new pay commission) का गठन करती है। पिछली बार साल 2014 में 7वें वेतन आयाग का गठन किया गया था जिससे कर्मचारियों की बेसिक सैलरी में तगड़ा उछाल आया। अब 7वें वेतन आयोग को 2025 के दिसंबर में 10 साल पूरे हो रहे हैं।

7वें वेतन आयोग (7th Pay Commission) का कार्य काल खत्म होने के बाद 8वां वेतन आयोग लागू किया जाएगा। जिसके बाद कर्मचारियों के मूल वेतन और भत्तों को संशोधित किया जाएगा। हाल ही में मिली जानकारी के अनुसार सरकार 8वें वेतन आयोग (8 th pay commission) की सिफारिशें 1 जनवरी 2026 से लागू कर सकती है। सरकार ने जनवरी 2025 में 8वें केंद्रीय वेतन आयोग के गठन की घोषणा की थी, ताकि केंद्र सरकार के कर्मचारियों के वेतन, भत्तों और अन्य सुविधाओं की समीक्षा की जा सके।