Toll Tax को लेकर सरकार करने जा रही बड़ा बदलाव, जानिए नितिन गडकरी का क्या है खास प्लान
Toll Tax - वाहन चालकों के लिए जरूरी खबर. दरअसल एक्सप्रेसवे और नेशनल हाईवे पर टोल वसूली के काम जल्द ही बड़ा बदलाव हो सकता है. सड़क परिवहन एवं राजामार्ग मंत्रालय इस संबंध में तैयारी कर रहा है. ऐसे में आइए नीचे खबर में जान लेते है आखिर क्या है नितिन गडकरी का खास प्लान-

HR Breaking News, Digital Desk- (Toll Tax) सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने एक्सप्रेसवे (expressway) और नेशनल हाईवे (national highway) पर टोल वसूलने वाली एजेंसियों को समाप्त करने की योजना बनाई है. इसके लिए बैंकों के साथ विभिन्न मीटिंग्स की जा चुकी हैं और बैंक इस प्रक्रिया के लिए तैयार हैं. मंत्रालय अब टोल वसूली के लिए बैंकों के मॉडल पर विचार कर रहा है, जिससे यह व्यवस्था सुगम हो सके.
सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय के अनुसर देश के 1.5 लाख किलोमीटर लंबे नेशनल हाइवे और एक्सप्रेसवे नेटवर्क में से करीब 45,000 किलोमीटर पर टोल वसूला जा रहा है. देशभर में 1063 टोल प्लाजा हैं.
बड़े बदलाव की तैयारी-
मौजूदा समय में देशभर में टोल वसूली का कार्य टोल एजेंसियां करती हैं, जो स्थानीय स्तर पर कर्मचारियों को नियुक्त करती हैं. टोल की राशि एनएचएआई (NHAI) और एक्सप्रेसवे (Expressway) निर्माण कंपनी को दी जाती है, जो शर्तों के तहत निर्धारित होती है. मंत्रालय अब इस टोल वसूली मॉडल में बड़ा बदलाव करने की योजना बना रहा है, जिससे प्रक्रिया में सुधार हो सकता है.
टोल प्लाजा खत्म करने की तैयारी-
सड़क परिवहन मंत्रालय के अनुसार देश में टोल बैरियर खत्म किए जाएंगे. इससे वाहन चालकों का समय बचेगा. हालांकि पहले जीपीएस आधारित तकनीक से टोल वसूलने की तेयारी थी लेकिन अब इसमें बदलाव किया गया है. बगैर रुके टोल वसूलने के लिए एएनपीआर (Automatic Number Plate Recognition) तकनीक का इस्तेमाल किया जाएगा.
बन रहा है नया मॉडल-
सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने टोल वसूली (toll collection) का कार्य बैंकों को सौंपने की योजना बनाई है. इस संदर्भ में कई सरकारी बैंकों के साथ मीटिंग आयोजित की गई है. बैंकों ने एएनपीआर (ऑटोमेटिक नंबर प्लेट रिकगनिशन) प्रणाली से टोल वसूली के लिए अपने को तैयार कर लिया है. टोल शुल्क पहले बैंकों को मिलेगा, फिर एनएचएआई को सौंपा जाएगा.
इसके बदले बैंक हाई क्वालिटी के कैमरे (high quality camera) खरीदने से लेकर उन्हें इंस्टाल (install) कराने का काम करेंगे. मंत्रालय के अनुसार अभी इस पर मंथन किया जा रहा है कि कि बैंक कितने दिन तक पैसा अपने पास रखेंगे. संभावना है कि जल्द ही इसका मॉडल भी फाइनल हो जाएगा.