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UP News : अब 60 हेक्टेयर भूमि का अधिग्रहण, 222 करोड़ रुपये में लिंक किए जाएंगे दो प्रमुख एक्सप्रेसवे

UP Expressway News : योगी सरकार अब प्रदेश के एक्सप्रेसवे को लेकर विकास की गति को बढ़ावा दे रही है। अब हाल ही में यूपी में दो प्रमुख एक्सप्रेसवे को बनाने को लेकर मंजूरी मिल चुकी है और इन दोनों एक्सप्रेसवे को 222 करोड़ रुपये में तैयार किया जाएगा। प्रदेश के इन एक्सप्रेसवे (UP Expressway Updates ) के निर्माण के लिए 60 हेक्टेयर भूमि का अधिग्रहण किया जाएगा।

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UP News : अब 60 हेक्टेयर भूमि का अधिग्रहण, 222 करोड़ रुपये में लिंक किए जाएंगे दो प्रमुख एक्सप्रेसवे

HR Breaking News (UP Expressway) नए -नए एक्सप्रेसवे के निर्माण से प्रदेश अब तक का सबसे ज्यादा एक्सप्रेसवे वाला राज्य बन चुका है और अब हाल ही में यूपी में दो प्रमुख एक्सप्रेसवे को बनाने को लेकर सरकार ने मंजूरी दे दी है।

इन नए एक्सप्रेसवे के निर्माण से समय की बचत के साथ ही औघोगिकरण को भी बढ़ावा मिलेगा। खबर में जानिए कि इन दोनों नए एक्सप्रेसवे (UP Expressway News) का निर्माण कब किया जाएगा और कहां बनाया जाएगा। 

कब शुरू होगा इन एक्सप्रेसवे पर काम


दरअसल, आपको बता दें कि यमुना एक्सप्रेसवे को ईस्टर्न पेरिफेरल एक्सप्रेसवे (Yamuna Expressway to Eastern Peripheral Expressway) से कनेक्ट करने के लिए बनाया जाने वाला इंटरचेंज का काम अब 222 करोड़ में पूरा किया जाना है।

जानकारी के मुताबिक अगले 15 दिन में इसको लेकर काम शुरू हो सकता है। NHAI ने पिछले दिनों की इसके निर्माण के लिए एनसीआर ईपी प्राइवेट लि। कंपनी का चयन कर लिया गया था।

जैसे ही इसका  वर्क ऑर्डर जारी होता है तो उसके बाद अब काम शुरू किया जाएगा। यमुना एक्सप्रेसवे (eastern peripheral expressway) के जीरो पॉइंट से 10 किलोमीटर पर जगनपुर व अफजलपुर में दोनों एक्सप्रेसवे को कनेक्ट करने के लिए इंटरचेंज बनाने का प्लान है।

रखा गया इंटरचेंज के बदलाव का प्रस्ताव 


इन एक्सप्रेसवे के निर्माण के लिए यमुना प्राधिकरण (Yamuna Authority)ने पिछले साल बोर्ड से अनुमोदन के बाद एनएचएआई को इसका कार्यभार सौपां गया था। वहीं, अप्रैल 2025 में प्रदेश सरकार की कैबिनेट में इंटरचेंज के बदलाव का प्रस्ताव पास किया था और साथ ही इसके लिए 60 हेक्टेयर भूमि का अधिग्रहण हो चुका है।

अब अगले महीने से इंटरचेंज के निर्माण का कार्य शुरू हो जाएगा। हालांकि अभी तक ग्रेटर नोएडा से होकर गुजर रहे केजीपी का यमुना एक्सप्रेसवे (Yamuna Expressway of KGP)से कोई लिंक नहीं है।

इसके चलते केजीपी पर आगरा जाने वाले वाहन चालक को 15 से 20 किलोमीटर तक घूमना पड़ता है। वहीं, वाहनचालको को इस दौरान परी चौक और कासना के जाम से जूझना पड़ता है।

कब खत्म होगा इंटरचेंज का निर्माण कार्य 


हालांकि अभी फिलहाल तो सिरसा के पास ईस्टर्न पेरिफेरल का इंटरचेंज (Interchange of Eastern Peripheral) बना हुआ है। अब इंटरचेंज का निर्माण कार्य अगले साल 2026 के आखिर तक पूरा हो पाएगा।

यूपी के इन दोनों ही एक्सप्रेसवे को जोड़ने के लिए इंटरचेज पर आठ लूप बनाने की तैयारी है, जोकि कुल 11 किलोमीटर के होंगे। बता दें कि इनमे चार लूप उतरने व चार लूप चढ़ने के लिए बनाए जाने हैं। इसका फायदा (UP EXpressway )यह होगा कि  इससे एक्सप्रेसवे पर सफर करने वाले लोगों को इंटरचेंज से उतरने व चढ़ने के लिए जाम में नहीं फसेंगे।


ईंधन व समय की होगी बचत 


जैसे ही ये दोनों एक्सप्रेसवे (UP New Expressway )जुड़ते हैं तो इनके जुड़ने से गाजियाबाद, हापुड़ और मेरठ के लोगों को आगरा की ओर जाने के लिए यमुना एक्सप्रेसवे पर जाने के लिए ग्रेटर नोएडा परी चौक से होकर नहीं जाना पड़ेगा।

जैसे ही यह कनेक्टिविटी होती है तो इन जिलों के वाहन दुहाई और डासना से ईस्टर्न पेरिफेरल एक्सप्रेस-वे पर चढ़ने के बाद सीधे यमुना एक्सप्रेस-वे (Yamuna Expressway Updates) तक पहुंच आसान हो सकेगी और साथ ही मथुरा, आगरा की तरफ आने वाले यात्रियों को पेरीफेरल पर जाने के लिए 20 किलोमीटर तक नहीं घूमना पड़ेगा, जिससे ईंधन व समय की बचत भी हो सकेगी।

क्यों बंद हुआ था काम


इसके लिए इंटरचेंज बनाने का काम दूसरी बार साल 2023 में शुरू किया गया था। प्राधिकरण की ओर से निजी कंट्रेक्टर को इसे बनाने की जिम्मेदारी सौंपी गई थी।

बता दें कि यूपी (UP eastern expressway) के तत्कालीन मुख्य सचिव ने इसका शिलान्यास किया था, हालांकि थोड़े दिनों बाद ही विकासकर्ता कंपनी की ओर से इसके निर्माण में जो मिट्टी पर खर्च होने वाली लागत 22 करोड़ रुपये का एक्सट्रा एस्टीमेट डाल दिया और काम रुक गया। इस वजह से इसके निर्माण का पेच फंस गया था लेकिन अब एक बार फिर इसके निर्माण को शुरू किया जा रहा है।