UP News : गोरखपुर सिलीगुड़ी एक्सप्रेसवे को केंद्र सरकार ने दी मंजूरी, यह होगा रूट
HR Breaking News : (UP News) केंद्र सरकार ने हाल ही में यूपी में गोरखपुर सिलीगुड़ी एक्सप्रेसवे को लेकर मंजूरी दे दी है और अब इस एक्सप्रेसवे के निर्माण से गोरखपुर से सिलीगुड़ी तक का सफर बेहद आसान होने वाला है। यूपी के इस प्रोजेक्ट (UP New Project) के पूरा होते ही गोरखपूर के राज्यों में आना-जाना आसान हो जाएगा। इस नए एक्सप्रेसवे को लेकर रूट भी तैयार कर लिए गए हैं। आइए खबर में जानते हैं कि ये एक्सप्रेसवे कब तक बनकर तैयार हो जाएगा।
नए प्रोजेक्ट को मिली केंद्र की मंजूरी
यूपी का ये लंबा एक्सप्रेसवे यूपी के गोरखपुर से पश्चिम बंगाल के सिलिगुड़ी (Gorakhpur Siliguri Expressway) तक बनाया जाएगा। केंद्र सरकार से 568 किलोमीटर लंबे एक्सप्रेसवे को लेकर मंजूरी मिल गई है। यूपी के इस प्रोजेक्ट पर तकरीबन 39 हजार करोड़ रुपये की लागत आ सकती है। गोरखपुर से सिलीगुड़ी तक बनने वाले 6 लेन के ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे प्रोजेक्ट (Greenfield Expressway Project) को अब जमीन पर उतारने की कवायद चल रही है और इस महत्वाकांक्षी परियोजना के सर्वे का काम राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (National Highway Authority) की ओर से तेज कर दिया गया है।
व्यापार-पर्यटन को मिलेगी नई उड़ान
इस नए एक्सप्रेसवे (UP new expressways) के लिए गांव-गांव जाकर भूमि नापी जा रही है। इसके लिए जमीन की पहचान करके मुख्य स्थानों पर पीलर लगाए जा रहे हैं। जैसे ही ये प्रोजेक्ट पूरा होता है तो इससे उत्तर बिहार और सीमांचल की कनेक्टिविटी मजबूत होने के साथ्ज्ञ ही व्यापार-पर्यटन को भी नई गति मिलेगी। बता दें कि इस एक्सप्रेसवे (UP Expressway Project) की शुरुआत गोरखपुर से होगी, जो बिहार के शिवहर, सीतामढ़ी, मधुबनी समेत कई जिलों होते हुए पश्चिम बंगाल के सिलीगुड़ी तक जाने वाला है और इसके निर्माण से पूरे पूर्वोत्तर भारत को बेहतर सड़क संपर्क मिलने वाला है।
कब तक पूरा हो जाएगा ये एक्सप्रेसवे
जानकारी के लिए बता दें कि ये एक्सप्रेसवे (UP New Expressway) बिहार के शिवहर में 15.8 किलोमीटर लंबा बनने वाला है। जबकि, यह एक्सप्रेसवे सीतामढ़ी के 28 गांवों से होकर गुजरने वाला है। सड़क पिपराही के पास शिवहर से होते हुए सीतामढ़ी में इसकी एंट्री होगी। जहां से परसौनी प्रखंड और अन्य तीन प्रखंडों के गांवों से होकर मधुबनी की ओर से होते हुए जाएगा।
जानकारी के मुताबिक, इस एक्सप्रेसवे को लेकर जल्द ही सर्वे और विस्तृत परियोजना रिपोर्ट (Detailed Project Report) तैयार की जाएगी और इसके बाद भूमि अधिग्रहण और निर्माण का कार्य तेजी आ जाएगी। 2028 तक इस एक्सप्रेसवे को पूरा करने का मकसद रखा गया है।
किसे सौपीं गई प्रोजेक्ट के सर्वे का जिम्मा
यूपी के इस प्रोजेक्ट (UP projects) को लेकर स्थानीय किसानों और व्यापारियों में इंतजार बना हुआ है। इस बारे में उत्साह प्रकट करते हुए किसानों ने कहा कि उनके कृषि उत्पाद अब देश के बड़े बाजारों तक तेजी से पहुंच सकेंगे और व्यापारियों का कहना है कि इससे निवेश के नए अवसर पैदा होंगे।
बता दें कि भोपाल की एलएन मालवीय इंफ्रा प्रोजेक्ट प्राइवेट लिमिटेड (INFRA PROJECT PVT LTD) को इस प्रोजेक्ट के सर्वे और डीपीआर तैयार करने की जिम्मेदारी दी गई है। इस कंपनी की टीम 100 मीटर चौड़ी जमीन को चिन्हित कर रही है। जैसे ही इसकी डीपीआर फाइनल होती है तो इससे भूमि अधिग्रहण का प्रोसेस तेज हो जाएगा।
