Income Tax : घर में रखे कैश का नहीं बता पाए सोर्स तो कितना भरना होगा जुर्माना, जानिये इनकम टैक्स के नियम
Rules of Cash in Home : डिजिटल पेमेंट के इस दौर में आज भी कई कैश का इस्तेमाल करते है। अगर आपको अपने घर में ज्यादातर कैश (Cash Money) रखने की आदत है, तो ये आपको काफी नुकसान भी पहुंचा सकती है। क्या आप जानते है की घर में कैश रखने को लेकर भी आयकर विभाग ने लिमिट तय की हुई है?अगर आप लिमिट से ज्यादा घर में कैश रखते है तो आपको इसका जवाब देना पड़ता है, आइए खबर में जानते है की अगर घर में रखे कैश का नहीं बता पाए सोर्स तो जानिये कितना भरना होगा जुर्माना।
HR Breaking News, Digital Desk - बदलते ज़माने में कैश का उपयोग काफी कम हो गया है। आजकल लोग अपने रोज के जरुरी पेमेंट ज्यादातर मोबाइल से ही करते है। लेकिन कैश रखने का चलन (use of cash) अभी उतना कम नहीं हुआ है जितना लोग सोचते है। डिजिटल के जमाने में भी अधिकांश लोग अपने घरों पर कैश रखते हैं। क्योंकि कई बार सर्वर,नेट के कारण ऑनलाइन पेमेंट नहीं हो पाता है। कैश का चलन कम हुआ है लेकिन खत्म हो गया है ऐसा नहीं कह सकते है। लेकिन क्या आपको पता है घर में कैश रखने की क्या लिमिट है या अपने घर में कितना कैश (Cash Limit) रख सकते है। आप आये दिन आयकर के छापेमारी की खबर सुनते ही है। ऐसे में चलिये जानते है कि घर पर कैश रखने के क्या नियम है।
क्या कहता है आयकर नियम: (income tax latest news)
लोगो के बीच अकसर घर में कैश रखने की स्वीकार्य सीमा और नवीनतम आयकर नियमों को लेकर अक्सर सवाल उठते रहते है। आयकर की रेड के दौरान (during income tax raid) आय के स्रोतों को प्रमाणित करना सबके लिए महत्वपूर्ण हो जाता है क्योंकि बेहिसाब संपत्ति का सही ब्यौरा न दिए जाने की स्थिति में जुर्मना लगाया जाता है।
घर में कैश रखने की क्या है लिमिट: (cash limit at home)
आयकर अधिनियम के अनुसार, घर में कैश रखने पर कोई विशेष प्रतिबन्ध नहीं है। ऐसे में यह सवाल उठता है कि क्या लिमिट से अधिक कैश रखने पर आयकर विभाग का नोटिस मिल सकता है। आपको बता दें कि घर पर कैश रखने की कोई लिमिट नहीं है। इनकम टैक्स (Income Tax) के अधिनियम के अनुसार आप अपने घर में कितना भी कैश रख सकते हैं।
कैश रखने के क्या है नियम: (income tax new rules)
कैश को लेकर कई नियम है बनाये गए है, जो अक्सर बैंक के लेनदेन के समय सामने आते है। आयकर विभाग किसी भी व्यक्ति को ऋण या जमा के लिए 20,000 रुपये या अधिक कैश स्वीकार करने से रोकता है। वहीं 50,000 रुपये से अधिक के लेनदेन के लिए पैन नंबर को अनिवार्य किया गया है। इसके अतिरिक्त 30 लाख रुपये से अधिक के कैश के साथ संपत्ति की खरीद या बिक्री में शामिल कोई भी व्यक्ति जांच के दायरे में आ सकता है।
सही जानकरी न देने पर बढ़ सकती है मुश्किलें:
जैसा की अब आपको पता चल गया कि घर पर कैश रखने की कोई सीमा नहीं है। लेकिन यदि कोई व्यक्ति आयकर विभाग की जांच के घेरे में आ जाता है तो उसे अपने रखे हुए कैश के सोर्स के बारें में बताना जरुरी हो जाता है। यदि आपके पास उस कैश का वैलिड सोर्स है तो आपके कोई मुश्किल नहीं होगी।
आयकर विभाग के अधिकारी अघोषित कैश को जब्त करने लिए अधिकृत है, और साथ ही कुल राशि का 137% तक जुर्माना लगाया जा सकता है।
कैश के केस में इन बातों का रखे ध्यानयदि आप कैश को लेकर बनाये गए नियमों का पालन करते है तो आपको कभी भी इसको लेकर कोई मुश्किल नहीं होगी लेकिन यदि आप नियमों को दरकिनार करते है तो आप आयकर विभाग के जांच के घेरे में आ सकते है।
जैसा की आपको पता है 50,000 रुपये से उससे अधिक की निकासी या जमा पर आपको पैन कार्ड दिखना होगा। वहीं यदि आप अपने बैंक अकाउंट में एक साल में 20 लाख रुपये से अधिक का कैश डिपॉजिट करते है तो आपको अपने पैन की डिटेल्स देनी होगी।
वहीं खरीदारी करते समय 2 लाख से अधिक के कैश पेमेंट पर प्रतिबन्ध है। तो ऐसे में आपको इन नियमों को ध्यान में रखना होगा।
