home page

Price Down - वनस्पति घी से लेकर खाने के तेल तक सब में भारी गिरावट, सरकार ने शेयर की नई लिस्ट

त्योहारी सीजन में लोगों को राहत देते हुए सरकार ने जानकारी दी कि कुछ खाद्य पदार्थों के दाम कम हो गए हैं. सरसों तेल की कीमत 173 रुपये प्रति लीटर से 3% गिरकर 167 रुपये प्रति लीटर हो गई. मूंगफली तेल की कीमत 189 रुपये प्रति लीटर से 2% घटकर 185 रुपये प्रति लीटर हो गई है.
 
 | 

HR Breaking News, Digital Desk- सरकार ने सोमवार को कहा कि पिछले एक महीने में 11 आवश्यक खाद्य पदार्थों की औसत कीमतों में 2 से 11% की गिरावट आई है. खाद्य और उपभोक्ता मामलों के मंत्री पीयूष गोयल ने ट्वीट किया कि मासिक घरेलू बजट को राहत देते हुए आवश्यक वस्तुओं की कीमतों में गिरावट आई है. उन्होंने  11 वस्तुओं की कीमतों में गिरावट को दिखाते हुए एक चार्ट भी शेयर किया.


पाम ऑयल की औसत कीमत 2 अक्टूबर 2022 को 132 रुपये प्रति लीटर से 2 अक्टूबर को अधिकतम 11% गिरकर 118 रुपये प्रति लीटर हो गई. वहीं वनस्पति घी की कीमत 152 रुपये प्रति किलोग्राम से 6% गिरकर 143 रुपये प्रति किलोग्राम हो गई. सूरजमुखी तेल की कीमत भी 176 रुपये प्रति लीटर से 6% गिरकर 165 रुपये प्रति लीटर हो गई, जबकि सोयाबीन तेल 156 रुपये प्रति लीटर से 5% कम होकर 148 रुपये प्रति लीटर से 6% गिरकर 165 रुपये प्रति लीटर हो गई, जबकि सोयाबीन तेल 156 रुपये प्रति लीटर से 5% कम होकर 148 रुपये प्रति लीटर हो गया. 


किन चीजों के गिरे दाम?


सरसों तेल की कीमत 173 रुपये प्रति लीटर से 3% गिरकर 167 रुपये प्रति लीटर हो गई. प्याज की कीमत 26 रुपये प्रति किलोग्राम से 8% गिरकर 24 रुपये प्रति किलोग्राम हो गई, जबकि आलू की कीमत 28 रुपये प्रति किलोग्राम से 7 फीसदी घटकर 26 रुपये  प्रति किलोग्राम हो गई.दालों में, चने की कीमत 74 रुपये प्रति किलोग्राम से 4% गिरकर 71 रुपये प्रति किलोग्राम, मसूर की दर 97 रुपये प्रति किलोग्राम से घटकर 94 रुपये प्रति किलोग्राम और उड़द की दाल की कीमत 2% गिरकर 108 रुपये प्रति किलोग्राम से 106 रुपये प्रति किलोग्राम हो गई. खाद्य मंत्रालय ने रविवार को कहा कि वैश्विक कीमतों में गिरावट के कारण घरेलू खाद्य तेल की कीमतों में गिरावट आई है.


वैश्विक दरों में गिरावट और आयात शुल्क में कमी के कारण भारत में खाद्य तेलों की खुदरा कीमतों में काफी गिरावट आई है. मंत्रालय ने यह भी बताया कि निर्दिष्ट खाद्य तेलों पर रियायती आयात शुल्क मार्च 2023 तक लागू है. घरेलू आपूर्ति को बढ़ावा देने और खुदरा कीमतों को नियंत्रण में रखने के लिए केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर और सीमा शुल्क बोर्ड (CBIC) द्वारा 31 अगस्त, 2022 को यह निर्णय लिया गया था. पाम तेल, सोयाबीन तेल और सूरजमुखी तेल की कच्ची किस्मों पर आयात शुल्क फिलहाल शून्य है.