home page

ITR Saving: बिना कोई गड़बड़ किए ऐसे बचाएं इनकम टैक्स, जानें तरीका

Income Tax Saving: आज हम आपको ऐसा तरीका बताएंगे, जिससे आप बिना कोई वित्तीय या लेनदेन की गड़बड़ किए इनकम टैक्स को बचा सकते है। खास बात तो यह है कि इसे आप कानून के दायरे में रहकर ही कर सकते हैं। जानें पूरी जानकारी...  
 | 

HR Breaking News, New Delhi: हर कोई टैक्स पेयर(tax payer) की यह इच्छा रहती है कि उसे कम टैक्स देना पड़ें। इसके लिए वह कई प्रकार की लेनदेन में गड़बड़ करता रहता है। इसके लिए कई बार उसे जुर्माने के साथ जेल में भी जाना पड़ सकता है। आज हम आपको ऐसा तरीका बताएंगे जिससे आप बिना कोई वित्तीय या लेनदेन की गड़बड़ किए इनकम टैक्स को बचा सकते है। खास बात तो यह है कि इसे आप कानून के दायरे में रहकर ही कर सकते है।  

इसे भी देखें : आईटीआर भरने से पहले जान ले ये जरूरी बात, इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने उठाया बड़ा कदम

देश का टैक्स कानून इनकम टैक्स देने वालों को ऐसी सुविधाएं देता है, जिससे आप अपनी टैक्स देनदारी कम कर सकते हैं। इन्हीं में से एक है कारोबार या निवेश में नुकसान होने पर उसके बारे में जानकारी देकर टैक्स देनदारी कम करना। आयकर अधिनियम के तहत करदाताओं द्वारा अर्जित आय को पांच प्रमुख श्रेणियों में रखा गया है। जिसमें वेतन, गृह संपत्ति, पूंजीगत लाभ, व्यवसाय या पेशेवर और अन्य स्रोत प्रमुख हैं।

 

यह समझने के लिए कि किस तरह से नुकसान को समायोजित करके अपनी कर देयता को कैसे कम किया जाए, यहां पर नुकसान समायोजन के दो तरीकों से समझते हैं। एक इंट्रा हेड और दूसरा इंटर हेड। करदाताओं को एक ही शीर्ष के भीतर आय के एक स्रोत से आय के अन्य स्रोतों से होने वाली हानि के लिए समायोजित किया जा सकता है। उदाहरण के लिए, आप व्यवसाय X से होने वाले नुकसान को व्यवसाय Y के लाभ के साथ समायोजित कर सकते हैं।  

नुकसान को कैसे करें समायोजित?


दूसरी ओर, अंतर शीर्ष समायोजन में, करदाता(taxpayer) आय स्रोत के एक शीर्ष से होने वाले नुकसान को दूसरे शीर्ष के भीतर आय के साथ समायोजित कर सकता है। उदाहरण के लिए, मान लीजिए कि आप वेतन आय के साथ गृह संपत्ति के शीर्ष को समायोजित कर सकते हैं। टैक्स एक्सपर्ट्स का कहना है कि टैक्सपेयर्स को इंटरहेड एडजस्टमेंट से पहले इंट्राहेड एडजस्टमेंट करना चाहिए।

कैपिटल लॉस(capital loss)


कैपिटल लॉस को किसी अन्य शीर्ष के अंतर्गत आने वाली आय के विरुद्ध समायोजित नहीं किया जा सकता है। मतलब आप कैपिटल लॉस को सिर्फ कैपिटल गेन से एडजस्ट कर सकते हैं। साथ ही, आप लॉन्ग टर्म कैपिटल लॉस को लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन के साथ एडजस्ट कर सकते हैं। वहीं, आप लॉन्ग टर्म और शॉर्ट टर्म कैपिटल गेन दोनों के साथ शॉर्ट टर्म कैपिटल लॉस को एडजस्ट कर सकते हैं।

और देखें :  अलग-अलग होती इनकम टैक्स भरने की आखिरी तारीख, जानें आपकी ITR भरने की डेडलाइन

हाउस असेट(house asset)


घर की संपति के कारण हानि का नियम समायोजन की दृष्टि से अधिक उदार है। इसे किसी अन्य मद से आय के विरुद्ध समायोजित किया जा सकता है, लेकिन किसी विशेष वर्ष में केवल दो लाख रुपये की सीमा तक। अगर समय सीमा तक आयकर रिटर्न दाखिल नहीं किया जाता है, तो भी करदाता इसे अगले आठ वर्षों के लिए समायोजित कर सकता है। हालांकि, बाद के वर्षों में, इसे केवल गृह संपत्ति से होने वाली आय से ही समायोजित किया जा सकता है। ये नियम कमर्शियल प्रॉपर्टी पर भी लागू होंगे।