Home Loan - घर के लिए लिया लोन, नीलामी के समय ला देगा नौबत, लोन लेने से पहले जान लें ये जरूरी बातें 

अगर आपने बैंक से कर्ज लिया है तो उसे सही समय से चुकाना बहुत जरूरी होता है. अगर आपने घर के लिए लोन लिया है तो उसकी नीलामी के समय आपको नौबत आ सकती है। इसलिए लोन लेने से पहले कुछ बातों का जान लेना आपके लिए बेहद जरूरी है।  

 

HR Breaking News, Digital Desk- अगर आपने घर खरीदने के साथ अन्य तरह के लोन ले रखे हैं तो आपको बैंक से लिए गए कर्ज को चुकाना ही पड़ता है क्योंकि अगर आप बैंक का कर्ज नहीं चुकाते हैं तो नीलामी की नौबत का सामना करना पड़ सकता है. इसके साथ ही साथ आपको कई चुनौतियों का भी सामना करना पड़ता है. बता दें कि जब भी आप मकान खरीदते या बनवाते हैं तो होम लोन लेते हैं,

इसी तरह कार वगैरह खरीदने पर भी कार लोन लेते हैं. इस तरह के लोन को सिक्योर लोन की श्रेणी में रखा जाता है क्योंकि इनके बदले में आपको गारंटी के तौर पर बैंक के पास किसी संपत्ति को गिरवी रखना होता है. अगर आपने बैंक से कर्ज लिया है तो उसे समय से चुकाना भी होगा. अगर आप समय से लोन नहीं चुका पाते हैं तो बैंक आपके खिलाफ एक्शन लेना शुरू कर सकता है और आप मुश्किल में पड़ सकते हैं.

बैंक पहले देता है जानकारी-


अगर आप किसी कारण लोन की दो ईएमआई नहीं दे पाते हैं, तो बैंक सबसे पहले आपको आपको जानकारी देता है. अगर आप अपने होम लोन की लगातार तीन किस्तों का भुगतान करने से चूक जाते हैं, तो बैंक आपको ऋण चुकाने के लिए एक कानूनी नोटिस भेजता है. मगर चेतावनी के बाद भी अगर आपने ईएमआई पूरी नहीं की तो बैंक की तरफ से आपको डिफॉल्टर घोषित कर दिया जाएगा.

इसके बाद आपको कभी भी किसी बैंक से लोन नहीं मिलेगा. अगर आप समय से लोन नहीं चुकाते हैं तो इससे आपका रिकॉर्ड खराब हो जाता है और आपका क्रेडिट स्कोर बिगड़ जाता है. ऐसे में आपको अगली बार बैंक से लोन आसानी से नहीं मिल पाता. अगर किसी तरह जुगाड़ से आपने लोन ले भी लिया तो आपको सख्त नियमों और शर्तों के साथ ऊंची ब्याज दरों पर लोन मिलेगा.

नीलामी से पहले एनपीए-


बैंक या वो वित्तीय संस्थान जिससे आपने लोन लिया हो, अगर आप उस लोन की लगातार तीन किस्तें जमा न करें और बैंक की चेतावनी के बाद भी ईएमआई का भुगतान न करें तो बैंक लोन अकाउंट को एनपीए मान लेता है. अन्य वित्तीय संस्थाओं के मामले में यह सीमा 120 दिन की होती है. ऐसे में जो भी डिफॉल्टर हो, उसे एक कानूनी नोटिस भेजा जाएगा. उसमें तय समय में बकाया चुकाने को कहा जाता है. अगर आप फिर भी लोन नहीं चुकाते हैं तो इस स्थिति में आपके द्वारा गिरवी रखी गई सम्पत्ति को नीलाम कर दिया जाएगा.

खतरे में आ सकती है गिरवी संपत्ति-


सिक्योर्ड लोन में प्रॉपर्टी को गिरवी इसलिए रखवाया जाता है, ताकि लोन न चुकाने पर बैंक उस प्रॉपर्टी को बेचकर लोन की भरपाई कर सके. ऐसे में आपकी गिरवी रखी संपत्ति खतरे में आ जाती है. बैंक आपकी गिरवी रखी प्रॉपर्टी पर कब्जा कर सकता है. ये बैंक का अधिकार है. इसलिए ऐसे में आपको अपनी गिरवी रखी हुई संपत्ति को बचाने के लिए आपको बैंक से लिया गया लोन चुकाना होगा. इसके बाद आप अपनी संपत्ति को नीलामी जैसी नौबत से बचा सकते हैं.