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8th Pay Commission : सरकारी कर्मचारियों के लिए खुशखबरी, इतनी बढ़ेगी सैलरी

Salary in 8th Pay Commission :कर्मचारियों की सैलरी और पेंशन में वृद्धि करने के लिए वेतन आयोग हर दस साल में नए वेतन आयोग का गठन करता है। वेतन आयोग कर्मचारियों की सैलरी में ईजाफा फिटमेंट फैक्टर के आधार पर करता है। फिटमेंट फैक्टर को तैयार करते समय आयोग महंगाई और कर्मचारियों के प्रदर्शन को ध्यान में रखते है। आइए आपको बताते है कि सैलरी में कितना ईजाफा होने जा रहा है। 

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8th Pay Commission : सरकारी कर्मचारियों के लिए खुशखबरी, इतनी बढ़ेगी सैलरी

HR Breaking News - 8वें वेतन आयोग (8th Pay Commission) के गठन को केंद्र सरकार (Central Government) ने मंजूरी प्रदान कर दी है। अगले साल 1 जनवरी से नए वेतन आयोग की सिफारिशें लागू हो सकती है। वेतन आयोग (Pay Commission) कर्मचारियों के वेतन और पेंशन में ईजाफा फिटमेंट फैक्टर (Fitment Factor) के आधार पर करता है। विशेषज्ञों के अनुसार केंद्र सरकार अबकी बार फिटमेंट फैक्टर में कई गुणा का ईजाफा कर सकती है। फिटमेंट फैक्टर में बढ़ोतरी होने में कर्मचारियों की सैलरी में कई गुणा तक ईजाफा हो सकता है। 

 


ऐसे तय होता है फिटमेंट फैक्टर


वेतन आयोग फिटमेंट फैक्टर (Fitment Factor) के आधार पर कर्मचारियों की सैलरी (Salary in Fitment Factor) तय करता है। फिटमेंट फैक्टर एक गुणांक है। इसका इस्तेमाल सरकारी कर्मचारियों के वेतन और पेंशन की गणना करने के लिए किया जाता है। इसे मुद्रास्फीति (inflation), कर्मचारियों की जरुरतें और सरकार की वित्तीय क्षमता (financial capacity) जैसी चीजों को ध्यान में रखते हुए तय किया जाता है। 


इन चीजों से तय होती कर्मचारियों की सैलरी

 

इकोनॉमी की स्थिति (state of the economy): वेतन आयोग कर्मचारियों की सैलरी में ईजाफा देश की वित्तीय स्थिति (state of the economy) पर निर्भर करता है। वित्तीय स्थिति अच्छी होने पर कर्मचारियों की सैल्ररी में बढ़ोतरी होने के गुंजाइश रहती है।
महंगाई दर (inflation rate) : कर्मचारियों के वेतन में बढ़ोतरी तय करने से पहले वेतन आयोग यह जानने की कोशिश करता है कि हाल में देश की महंगाई (inflation rate) कितनी बढ़ी है और उसका कर्मचारियों की जीवनशैली पर क्या असर पड़ता है। जैसे कि उनके लिए घर और गाड़ी खरीदना कितना मुश्किल हुआ है।


कर्मचारियों का प्रदर्शन: वेतन आयोग (Pay Commission) सैलरी में ईजाफा उनके काम करने की शैली और देश में होने वाले विकास के आधार पर भी करते है। अगर कर्मचारियों का ओवरऑल परफॉर्मेंस (overall performance) बेहतर रहता है, तो उसका असर वेतन आयोग की सिफारिशों पर दिखता है।


बाजार पर भी नजर: वेतन आयोग (Pay Commission)  केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी बढ़ाने की सिफारिश करते वक्त यह भी देखता है कि प्राइवेट कंपनियां (private companies) अपने कर्मचारियों को कितना हाइक दे रही हैं। इससे केंद्रीय कर्मचारियों (central employees) के लिए प्रतिस्पर्धी वेतन तय करने में आसानी होती है।


इतनी बढ़ेगी न्यूनतम सैलरी?


8वें वेतन आयोग में फिटमेंट फैक्टर (Fitment Factor) 2.6 से 2.85 के बीच हो सकता है। इस हिसाब से केंद्रीय कर्मचारियों (central employees)  की सैलरी में 25 से 30 फीसदी की बढ़ोतरी हो सकती है। ऐसे में कर्मचारियों की न्यूनतम सैलरी 40,000 रुपये से अधिक हो सकती है। इसमें भत्ते और परफॉर्मेंस पे भी शामिल होगा।