home page

Supreme court decision : बिना शादी के पैदा हुए बच्चे को मिलेगा प्रॉपर्टी में अधिकार

supreme court news : जब भी बच्चा पैदा होता है तो उसे अपने पिता की सम्पत्ति में अधिकार मिलता है पर क्या बिना शादी के पैदा हुए बच्चे को भी पिता की प्रॉपर्टी में अधिकार मिलेगा या नहीं, इसको लेकर हाल ही में सुप्रीम कोर्ट ने अपना डिसिशन देते हुए ये क्लियर कर दिया है | आइये जानते हैं इसको लेकर क्या कहता है सुप्रीम कोर्ट 

 | 

HR Breaking News, New Delhi : बिना शादी के पैदा हुए बच्चे अपने माता-पिता की संपत्ति में हिस्सा पाने के हकदार हैं। शीर्ष अदालत ने स्पष्ट किया कि यह फैसला केवल हिंदू संयुक्त परिवार की संपत्तियों पर लागू है। यह फैसला भारत के मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ की अगुवाई वाली तीन-न्यायाधीशों की पीठ ने रेवनासिद्दप्पा बनाम मल्लिकार्जुन (2011) मामले में दो-न्यायाधीशों की पीठ के फैसले के संदर्भ में दिया था, जिसमें कहा गया था कि अमान्य विवाह से पैदा हुए बच्चे संपत्ति के हकदार हैं। वह चाहें तो अपने माता-पिता की संपत्ति स्वेच्छा से हिस्सा मांग सकते हैं।

अब नहीं लागू होगा 8th Pay Commission, सरकार ने इस मजबूरी में लिया फैसला


सुप्रीम कोर्ट ने  फैसला सुनाते हुए कहा कि "अमान्य विवाह" के बच्चों को माता-पिता की संपत्ति में हिस्सा मिल सकता है। supreme court ने यह भी कहा कि ऐसे बच्चे हिंदू कानून के तहत माता-पिता की संपत्ति में अधिकार का दावा कर सकते हैं। हिंदू विवाह अधिनियम 1955 की धारा 16(3) की व्याख्या के मुताबिक बच्चों को केवल अपने माता-पिता की संपत्ति विरासत में मिलेगी और इसके अवाला पैतृक संपत्ति में कोई अधिकार नहीं होगा।

Fastag की हुई छुट्टी, अब इस तरीके से कटेगा Toll tax

सुप्रीम कोर्ट का फैसला 2011 की एक याचिका पर आया है जो माता-पिता की पैतृक संपत्ति में हिस्सेदारी के जटिल कानूनी मुद्दे के मामले में दायर की गई थी। याचिका में पूछा गया था कि क्या गैर-वैवाहिक बच्चे हिंदू कानूनों के तहत अपने माता-पिता की पैतृक संपत्ति में हिस्सेदारी के हकदार हैं।