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Budget 2024 : कैसे होता है देश का बजट तैयार? किन-किन बातों का रखा जाता है खास ध्यान

Budget 2024 : बजट का इंतजार तो सब को है। लेकिन क्या कभी किसी ने ये सोचा है कि देश का बजट (country's budget) कैसे तैयार किया जाता है। क्या कभी आपके मन में ये सवाल उठा है कि कौन कौन मिल कर इस महत्वपूर्ण कार्य  को अंजाम देते है। इसे तैयार करने में किन-किन लोगों की भागीदारी होती है। अगर आप ये सब नही जानते है तो आज हम आपको इस खबर के माध्यम से इससे जुड़ी सारी जानकारी देने वाले है। 
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Budget 2024 : कैसे होता है देश का बजट तैयार? किन-किन बातों का रखा जाता है खास ध्यान

HR Breaking News, Digital Desk- बजट 2024 का इंजतार बड़ी बेसब्री से किया जा रहा है। काफी लोगों की बहुत सी उम्मीदें इस बजट से जुड़ी हुई है। बता दें कि इस बार का बजट बेहद खास होने वाला है, क्योंकि इस साल मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल का पहला बजट पेश किया जाना है। इसके लिए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण प्री-बजट मीटिंग्स (Finance Minister Nirmala Sitharaman pre-budget meetings) कर रही हैं। ये मीटिंग बजट तैयारी के महत्त्वपूर्ण हिस्से होते (union budget 2024) हैं। 


बजट की तैयारी के दौरान वित्त मंत्री (finance minister) विभिन्न सेक्टर के स्टेकहोल्डर्स जैसे राजस्व विभाग, इंडस्ट्री यूनियन, किसान यूनियन, ट्रेड यूनियन, इकोनॉमिस्ट आदि के साथ चर्चा करती हैं। इसके अलावा देश के व्यापारियों, कॉरपोरेट्स और अलग-अलग सेक्टर के संगठनों से भी बातचीत की जाती है। विभिन्न मंत्रालयों, राज्यों, केंद्र शासित प्रदेशों और स्वायत्त निकायों से भी बजट की तैयारी के लिए संबंधित जानकारी जुटाई जाती है।

ऐसे की जाती है बजट की तैयारी


बता दें कि बजट की तैयारी (budget preparation) में आर्थिक मामलों के विभाग द्वारा एक सर्कुलर जारी किया जाता है, जिसमें सभी अनुमानित वित्तीय खर्चों की जानकारी होती है। इसके बाद अलग-अलग मंत्रालयों के बीच रकमों के बारे में चर्चा होती है। फिर, फाइनेंस मिनिस्ट्री (finance ministry) अन्य मंत्रालयों के साथ बैठक करके एक ब्लूप्रिंट तैयार करती है। इसके बाद सभी मंत्रालयों के सीनियर अधिकारी फंड आवंटन के लिए वित्त मंत्रालय के साथ चर्चा करते हैं। यह प्रक्रिया बजट तैयार करने की प्रमुख पहलू (Key aspects of budget preparation) होती है, जिसमें अन्य मंत्रालयों और वित्त मंत्रालय के बीच समझौता किया जाता है।

बजट के दौरान ये होता है सरकार का मुख्य फोकस


बजट बनाते वक्त अगर खास बातो की बात करें तो सरकार की आय के प्रमुख स्रोत (Major sources of government income) टैक्स, राजस्व, जुर्माना, सरकारी शुल्क, डिविडेंड आदि होते हैं। हर साल फरवरी में पेश होने वाले केंद्रीय बजट के माध्यम से सरकार का मुख्य मकसद विभिन्न क्षेत्रों में निवेश करना, आय के साधन बढ़ाना, और आर्थिक ग्रोथ को बढ़ावा देना होता है। इसके अलावा, सरकार गरीबी और बेरोजगारी को कम करने के लिए योजनाएं (Government schemes to reduce poverty and unemployment) बनाती है और आधारभूत ढांचे जैसे क्षेत्रों में निवेश करती है।


जान लें क्या है इतिहास?


अगर आप नही जानते है तो बता दें कि भारत का पहला बजट (India's first budget) आजादी के बाद 26 नवंबर 1947 को पेश हुआ था, जिसे पहले वित्त मंत्री शनमुखम चेट्टी ने प्रस्तुत किया था। भारत के गणतंत्र बनने के बाद, पहला केंद्रीय बजट 28 फरवरी 1950 को पेश हुआ था। अंग्रेजी हुकूमत के दौरान, भारत का पहला बजट 7 अप्रैल 1860 को प्रस्तुत किया गया था, जिसे ब्रिटिश गवर्नमेंट (British Government budget) के फाइनेंस मिनिस्टर जेम्स विल्सन ने पेश किया था।

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