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Income Tax : नए टैक्स रिजीम से पुराने टैक्स सिस्टम में कैसे करें शिफ्ट, टैक्सपेयर्स जान लें काम की बात

How To Switch Tax Regime क्या आपने अभी तक टैक्स रिजीम सेलेक्ट नहीं किया है और कंपनी ने टीडीएस काट लिया है। अगर आप अपना टैक्स रीजीम बदलना चाहते हैं तो क्या आपके पास अभी मौका है। क्या आप एक टैक्स रिजीम से दूसरे टैक्स रीजीम में जा सकते हैं? आइए इस आर्टिकल में इसका जवाब जानते हैं। आइए जानते है इसके बारे में विस्तार से.

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HR Breaking News (नई दिल्ली)।  हर टैक्सपेयर्स को मार्च से पहले टैक्स रिजीम सेलेक्ट कर लेना है। अगर वह ऐसा नहीं करते हैं तो ऑटोमैटिक वह न्यू टैक्स रिजीम में सेलेक्ट हो जाएंगे। अगर आपने भी अभी तक टैक्स रिजीम सेलेक्ट नहीं की है और कंपनी ने टीडीएस (TDS) काट लिया है तो आप घबराएं नहीं।

बता दें कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट 2023 में इनकम टैक्स स्लैब में बदलाव किया था। इसके अलावा उन्होंने न्यू टैक्स रिजीम की भी घोषणा की थी। इसमें अब 3 लाख रुपये तक की इनकम को टैक्स फ्री कर दिया गया है। वहीं टैक्स रीबेट की सीमा को 5 लाख रुपये कर दिया गया है।

ऐसे में अगर आपने गलती से या फिर सोच-समझकर भी न्यू टैक्स रिजीम सेलेक्ट किया है और अब आप पुराने टैक्स रिजीम में वापस जाना चाहते हैं तो क्या आप आसानी से इसे शिफ्ट कर सकते हैं।

डिफॉल्ट टैक्स रिजीम


वित्त वर्ष 2023-24 में डिफॉल्ट टैक्स रिजीम न्यू टैक्स रीजीम बन गया है। ऐसे में अगर किसी टैक्सपेयर्स ने 1 अप्रैल 2023 में ओल्ड टैक्स रिजीम को सेलेक्ट किया है तो भी कंपनी डिफॉल्ट टैक्स रिजीम यानी न्यू टैक्स रिजीम के तहत टीडीएस काट लिया होगा।

क्या बदल सकते हैं टैक्स रीजीम


केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (CBDT) ने अप्रैल 2023 में टैक्स रीजीम से संबंधित एक सर्कुलर जारी किया था। इस सर्कुलर में उन्होंने टैक्स रिजीम को शिफ्ट या बदलने जैसा कोई जानकारी नहीं दी है। इसका मतलब है कि इस पर अभी कोई स्पष्टता नहीं है कि करदाता टैक्स रिजीम को बदल सकता है या नहीं।


हालांकि, कई एक्सपर्ट के अनुसार अगर कंपनी करदाता को टैक्स रिजीम चेंज करने का ऑप्शन देती है तब करदाता इसे बदल या शिफ्ट कर सकता है। अगर कंपनी द्वारा यह सुविधा नहीं दी जाती है तब इसका कोई इलाज नहीं है।

ITR फाइल करते समय चुन सकते हैं टैक्स रीजीम


टैरक्स एक्सपर्ट के अनुसार करदाता आईटीआर फाइल करते समय टैक्स रिजीम का सेलेक्शन कर सकते हैं। करदाता अपने हिसाब से कोई भी टैक्स रिजीम सेलेक्ट कर सकते हैं।