Income Tax : 19 लाख तक कमाई पर नहीं देना होगा एक रुपया भी इनकम टैक्स, टैक्सपेयर्स समझ लें कैलकुलेशन
Income Tax :आयकर विभाग की ओर से देश में एक तय सीमा के बाद आय जाने पर टैक्स वसूला जाता है, हाल ही में विभाग की ओर से प्रावधान किया गया है कि 12 लाख तक की आय टैक्स फ्री होगी। लेकिन आप 12 लाख ही नहीं, 19 लाख तक की आय को भी टैक्स फ्री कर सकते हैं। आइए जानते हैं आए ऐसा कैसे कर सकते हैं।

HR Breaking News (Income Tax) आयकर विभाग की ओर से नई टैक्स रिजीम में इनकम टैक्स छूट को लेकर कुछ प्रावधान किए गए हैं। पहले जहां सात लाख तक की आय टैक्स फ्री थी अब उसे बढ़ाकर 12 लाख रुपये तक किया गया है। परंतु आप कुछ तरीकों से 19 लाख तक की आय पर भी टैक्स बचा सकते हैं।
ओल्ड टैक्स रिजीम ही नहीं, नई में भी बचेंगे पैसे
आयकर बचाने के लिए जब कभी टैक्स बचत का नाम आता था तो लोगों के दीमाग में केवल ओल्ड टैक्स रिजीम आती है। इसमें एचआरए, एलटीए व 80 सी आदि क्लेम करके टैक्स में छूट ली जा सकती है।
नई टैक्स रिजीम में होंगे फायदे
सरकार की ओर से नई टैक्स रिजीम को अब और फ्रेंडली बनाया जा रहा है। 2025-26 में तो अधिकतर टैक्स पेयर्स नई टैक्स रिजीम में आ जाएंगे, क्योंकि इसमें बचत ही इतनी ज्यादा है।
यह है 19 लाख की आय पर टैक्स बचाने का तरीका
आप अपने टैक्स (Income Tax) को बचाने के लिए बदली हुई स्लैब दरों, स्टैंडर्ड डिडक्शन और कंपनियों की ओर से से की जा रही सैलरी स्ट्रक्चरिंग सुविधा का लाभ ले सकते हैं। अगर आप ऐसा करेंगे तो आपको 19,20,000 तक की आय पर भी टैक्स नहीं देना पड़ेगा।
ऐसे आपका टैक्स हो जाएगा जीरो
फाइनेंशियल ईयर 2025-26 से नई टैक्स रिजीम के स्लैब्स में बदलाव किया गया है। अब कंपनियों के सैलरी स्ट्रक्चर को भी टैक्स फ्रेंडली बनाया जा रहा है। इसी से आपकी सैलरी अगर सालाना 19 लाख् 20 हजार रुपये भी है तो आपको कोई टैक्स नहीं देना होगा।
पहले जानिए क्या हैं नई स्लैब और टैक्स
स्लैब टैक्स
0 – 4,00,000 जीरो
4,00,001 – 8,00,000 5%
8,00,001 – 12,00,000 10%
12,00,001 – 16,00,000 15%
16,00,001 – 20,00,000 20%
20,00,001 – 24,00,000 25%
24,00,000 से ऊपर 30%
मिलती है 25 हजार से ज्यादा पर छूट
ध्यान रहें कि 12 लाख तक की टैक्सेबल आय पर सेक्शन 87ए के अनुसार 25,000 रुपये तक की टैक्स छूट मिलती है, यानी की जीरो टैक्स देना होता है।
समझें 19 लाख तक आय को टैक्स फ्री करने का तरीका
इसके लिए आपको अपनी सीटीसी में ब्रेकअप के हिसाब से देखना होगा। आपकी सीटीसी में आपकी बेसिक सैलरी 9,60,000 रुपये हो और आपका पर्सनल अलाउंस 4,72,320 रुपये हो।
ऐसे में यह फिक्सड कंपोनेंट होगा, जोकि फ्लेक्सी पार्ट्स से एक्सक्लूड होगा। वहीं, कर्मचारियों का पीएफ देखें तो सीधा 21,600 होगा। कर्मचारी की ग्रेच्यूटी 46,080, वहीं कर्मचारी की वैरिएबल पे 96,000 रुपये होगी।
वहीं, किताबें, कार, मनोरंजन आदे कि एमपीएमसी कॉम्पोनेंट 6,23,600 रुपये होंगे। यह कुल 19 लाख से ऊपर चला जाता है।
अब जानिए टैक्सेबल इनमक
19 लाख 20 हजार में से 75,000 हजार रुपये स्टेंडर्ड डिडक्सन की छूट। अब बचे, 18,45,000, इसमें से एनपीएस Contribution 84,000 रुपये, जिसपर टैक्स नहीं लगेगा। तो अब बचे 17,61,000 वहीं, Flexi Pay टैक्स-फ्री कंपोनेंट्स हुए 6,23,600 रुपये के, इसमें कार कन्वेंस हुआ 2,85,600 रुपये का।
वहीं, किताबों आदि पर 1,08,000 रुपये का व मनोरंजन पर 2,40,000 और वर्दी पर 90,000 रुपये, जोकि टैक्स रहित है। अब आपके पास बचे 11,37,400 रुपये। अब आता है होम लोन का ब्याज और रेंटल इनकम सेट ऑफ, जोकि 2,60,000 रुपये बनेगी। वहीं, इंटरेस्ट डिडक्ट होगा 2,00,000 रुपये।
दूसरी ओर रेंटल इनकम एडजेस्ट होगी 60,000 रुपये। ऐसे में रुपये बचे 8,77,400। 50,000 हजार रुपये की अन्य डिडक्शन 8,27,400 जोकि टैक्सेबल अमाउंट होगी। ऐसे में आप अपनी सैलरी को रिस्ट्रक्चर करके पैसों की अच्छी खासी बचत कर सकते हैं और टैक्स में छूट पा सकते हैं।