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NCR में 2 बड़े बिल्डर्स के ऑफिस हुए सील, 38 संपत्तियों की होगी नीलामी, जानिये क्या है मामला

JP Associates and Supertech Limited News : रेरा का बकाया नहीं चुकाने पर बिल्डर्स पर कार्रवाई हुई है। ग्रेटर नोएडा प्रशासन (Greater Noida Administration) ने सेक्टर 128 स्थित जेपी असोसिएट्स और सेक्टर 96 स्थित सुपरटेक लिमिटेड के ऑफिस को सील कर दिया है। आइए जानते है इसके बारे में विस्तार से.

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NCR में 2 बड़े बिल्डर्स के ऑफिस हुए सील, 38 संपत्तियों की होगी नीलामी, जानिये क्या है मामला

HR Breaking News (नई दिल्ली)।  जिला प्रशासन (district administration) ने रेरा का बकाया नहीं चुकाने पर मंगलवार को सेक्टर 128 स्थित जेपी असोसिएट्स और सेक्टर 96 स्थित सुपरटेक लिमिटेड के ऑफिस को सील कर दिया है। दोनों बिल्डरों पर 70 करोड़ रुपये से भी ज्यादा का बकाया है। जिला प्रशासन (district administration) के अधिकारियों ने बिल्डर को चेतावनी दी है कि जल्द ही राशि जमा नहीं करने पर अन्य प्रॉजेक्ट को भी सील कर दिया जाएगा।


एसडीएम दादरी आलोक गुप्ता ने बताया कि सुपरटेक टाउनशिप लिमिटेड और जेपी असोसिएट्स लिमिटेड पर रेरा का 35- 35 करोड़ रुपये बकाया है। कई बार दोनों बिल्डर को नोटिस भेजे गए, लेकिन रकम को जमा नहीं किया। जिला प्रशासन (district administration) ने बकाया जमा नहीं करने वाले अजनारा समेत कई बिल्डरों को भी चेतावनी दी है। दादरी के एसडीएम ने बताया कि महागुन बिल्डर पर रेरा का 5 करोड़, अजनारा पर 2.5 करोड़ , इको ग्रीन पर 2.5 करोड़ रुपये बकाया है। उन्होंने यदि 48 घंटे के अंतराल में बकाया राशि नहीं दी तो कार्यालय सील कर दिया जाएगा।


वेव मेगा सिटी सेंटर की 38 संपत्तियों की नीलामी


जिला प्रशासन (district administration) एक बार फिर वेव मेगा सिटी सेंटर बिल्डर की 38 संपत्तियों की नीलामी करेगा। सभी 38 संपत्तियां नोएडा के सेक्टर-18 स्थित वेव फर्स्ट सिल्वर टावर की हैं। नीलामी से मिलने वाली रकम से उत्तर प्रदेश भूसंपदा विनियामक प्राधिकरण (यूपी रेरा) के रिकवरी सर्टिफिकेट की वसूली कर खरीदारों का पैसा लौटाया जाएगा।


400 करोड़ की संपत्ति को कुर्क


यूपी रेरा आदेश का पालन नहीं करने वाले बिल्डरों के खिलाफ रिकवरी सर्टिफिकेट (आरसी) जारी कर देता है। प्रदेश भर में अभी तक 3000 से अधिक काटी जा चुकी है। इनमें से करीब एक हजार करोड़ की आरसी पर वसूली हो चुकी है, लेकिन बाकी आरसी पर वसूली होने का इंतजार है। गौतमबुद्ध नगर में ही बिल्डरों पर करीब 600 करोड़ की आरसी काटी गई है। प्रशासन ने विभिन्न बिल्डरों की करीब 400 करोड़ की संपत्ति को कुर्क कर ली है। प्रशासन ने कुर्क संपत्ति को ई-नीलामी करने की तैयारी की थी, लेकिन प्रशासन का यह प्रयास सफल नहीं हो सका।