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Property Documents : प्रॉपर्टी खरीदते वक्त ऐसे चेक करें डॉक्यूमेंट असली है या नकली, वरना हो जाएगा तगड़ा नुकसान

Property Knowledge : आज के समय में बढ़ती महंगाई का असर प्रॉपर्टी के रेटों पर भी देखने को मिल रहा है। ऐसे में जब भी आप प्रॉपर्टी की खरीदी करते हैं तो आपको कुछ दस्तावेजों (identify fake property documents) का ध्यान देना चाहिए। अगर आप इन डॉक्यूमेंट्स का ध्यान नहीं देते हैं तो आपको परेशानी का सामना करना पड़ सकता है। आइए विस्तार से जानते हैं इन डॉक्यूमेंट्स के बारे में।
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Property Documents : प्रॉपर्टी खरीदते वक्त ऐसे चेक करें डॉक्यूमेंट असली है या नकली, वरना हो जाएगा तगड़ा नुकसान

HR Breaking News -(property documents) अक्सर लोगों को प्रॉपर्टी खरीदने  के लिए अपने जीनल की एक मोटी कमाई को लगाना पड़ता है। ऐसे में अगर आप प्रॉपर्टी को खरीदते समय कुछ बातों का ध्यान नहीं देते हैं तो आपको मुश्किलों का सामना करना पड़ सकता है। इन दस्तावेजों की मदद से अगर आप प्रॉपर्टी (property buying tips) को खरीदते हैं तो आपको परेशानी का सामना नहीं करना पड़ता है। इसके अलावा आप धोखाधड़ी से भी बच सकते हैं। खबर में जानिये इन दस्तावेजों के बारे में। 

 

इन डॉक्यूमेंट्स की होगी जरूरत-

 

 


प्रॉपर्टी खरीदना का एक काफी ज्यादा महंगा सौदा हो सकता है। ऐसे में आपको प्रॉपर्टी की डील कर रहे हैं तो इसके इन डॉक्यूमेंट्स (fake property documents) को जांचना काफी ही ज्यादा जरूरी होता है। आज के समय में प्रॉपर्टी के नाम पर धोखाधड़ी के मामले लगातार बढ़ते चले जा रहे हैं। प्रॉपर्टी को खरीदने-बेचने के लिए रजिस्ट्री, खतौनी, नक्शा, एनओसी, टाइटल डीड (title deed kya h), एन्कम्ब्रन्स सर्टिफिकेट और बेनामा समेत कई अन्य अहम कागजों की भी जरूरत होती है।

 

प्रॉपर्टी खरीदते वक्त रखें इन बातों का ध्यान-

डॉक्युमेंट्स दिखाने से इनकार: ध्यान दें कि जब भी आप प्रॉपर्टी (important property documents) को खरीदते हैं और अगर संपत्ति बेचने वाला आपको इन कागजातों को दिखाने के लिए मना कर देता है तो ऐसे में इस बात की संभावनाएं बढ़ जाती है कि प्रॉपर्टी का मालिक आपसे कुछ छुपाने की कोशिश कर रहा हो।

नाम में स्पेलिंग की गलतियां: आमतौर पर देखा जाता है कि रजिस्ट्री के दौरान अधिकारी सेल डीड (sale deed) से जुड़ी सभी जानकारियों को डिटेल से जांचते हैं। ऐसे में अगर यहां पर नाम में कोई गलती देखने को मिलती है तो इसको ठीक करने को कहा जाता है। ऐसे में प्रॉपर्टी (how to check property documents) बेचने वाले व्यक्ति की ऐसी गलतियों को करने से बचना चाहिए। साथ ही प्रॉपर्टी खरीदने वाले व्यक्ति को इस बात का ध्यान देना चाहिए।

पैन-आधार डाटा में अंतर: अगर आपकी सेल डीड (sale deed kya h) में दर्ज आधार कार्ड या पैन कार्ड में फर्क है यानी दोनों में जानकारी अलग-अलग है तो ऐसे में आपको इस बात को बिल्कुल भी नजर अंदाज नहीं करना चाहिए। 

इन डॉक्यूमेंट्स की कराएं वेरिफिकेशन-

जब भी आप किसी संपत्ति को खरीदते हैं तो इसके लिए आपको सबसे पहले उस प्रॉपर्टी के कागजों की जांच जरूर से ही कर लेनी चाहिए। संपत्ति को खरीदने से पहले आपको टाइटल डीड, (sale deed or title deed me fark) सेल डीड, एन्कम्ब्रन्स सर्टिफिकेट और प्रॉपर्टी टैक्स की रसीदों को जांच जरूर कर लेनी चाहिए ताकि आपके साथ कोई धोखाधड़ी न हो। 

रजिस्ट्री: प्रॉपर्टी को खरीदने से पहले जमीन या फिर घर की रजिस्ट्री (property registration) यानी मालिकाना हक का सबूत होना काफी ही ज्यादा जरूरी है। 

अनापत्ति प्रमाण पत्र (NOC): NOC के तहत इस बात को देखा जाता है कि आप जिस घर या जमीन को खरीदने के बारे में सोच रहे हैं उस संपत्ति (property buying tips) पर किसी अन्य व्यक्ति ने क्लेम न किया हो। 

यूटिलिटी सर्टिफिकेट: इस कागजात (Utility Certificate) में इस बात को सुनिश्चित किया जाता है कि घर या जमीन पर पानी, बिजली, और सड़क जैसी जरूरी सुविधाएं पूरी और सही तरीके से उपलब्ध हैं या नहीं। 

पजेशन लेटर: पजेशन लेटर वो दस्तावेज (possession letter kya h) होता है जिसमें डॉक्युमेंट डेवेलपर या बिल्डर की ओर से खरीददार के हक में जारी किया जाता है।

बैनामा: यह प्रॉपर्टी पर किसी व्यक्ति के मालिकाना हक को साबित करता है। इसकी वजह से प्रॉपर्टी को खरीदने से पहले आपको बैनामा (bainaman kya hota h) का जांच जरूर से ही कर लेनी चाहिए।