Income Tax Rules 2025 : बैंक खाते में एक साल में इस लिमिट से ज्यादा ट्रांजेक्शन करने पर आएगा इनकम टैक्स का नोटिस
Income Tax Rules : अधिकतर लोग अपनी कमाई से होने वाली बचत का हिस्सा बैंक खातों में ही रखते हैं। इन्हीं खातों से वे वित्तीय लेन-देन आदि भी करते हैं, लेकिन सालभर में एक निश्चित सीमा तक ही लेन-देन किया जा सकता है। इसे लेकर बाकायदा इनकम टैक्स विभाग की ओर से नियम (bank account transaction rules) भी तय है। इसका उल्लंघन करते ही विभाग नोटिस भेज देता है। ऐसे में आपको एक साल में बैंक खाते से की जाने वाली ट्रांजेक्शन लिमिट का पता होना जरूरी है।

HR Breaking News - (income tax)। बेशक लोग बैंक खातों से कई तरह के लेन-देन करते हैं, लेकिन अधिकतर लोग इस बात से अनजान होते हैं कि एक साल में कितनी लिमिट तक ट्रांजेक्शन (cash transaction rules) की जा सकती है। इस बारे में इनकम टैक्स विभाग की और से हर बैंक ग्राहक के लिए सीमा तय की हुई है। एक लिमिट से अधिक ट्रांजेक्शन एक साल में होता है तो तुरंत नोटिस आ जाएगा। इस कारण आपकी परेशानी भी बढ़ेगी, इसलिए ट्रांजेक्शन लिमिट (cash transaction limit) के इस रूल के बारे में जरूर जान लें।
यह लिमिट तय की है इनकम टैक्स विभाग ने-
इनकम टैक्स हर बैंक खाताधारक के लेनदेन पर अपनी निगरानी रखता है। एक वित्त वर्ष में दस लाख रुपये या उससे ज्यादा रुपये कैश (cash deposit rules) के रूप में खाते में जमा करवाता है तो तुरंत नोटिस आ सकता है। इसलिए आयकर विभाग को पहले ही इस बारे में जानकारी देनी जरूरी है। बेशक यह राशि अलग-अलग खातों में जमा की गई हो, लेकिन एक पेन कार्ड होने के कारण एक ही व्यक्ति के द्वारा मानी जाएगी।
इनकम टैक्स विभाग को जरूर दें यह सूचना-
इसलिए इनकम टैक्स विभाग (income tax department) के नोटिस से बचने के लिए 10 लाख रुपये की लिमिट से कम ही जमा कराएं या फिर विभाग को जानकारी दें। हालांकि बैंक भी इस बारे में इनकम टैक्स को जानकारी देने के लिए प्रतिबद्ध होते हैं। वैसे भी अब ऑनलाइन ही इनकम टैक्स को इसकी निगरानी रहती है। बेशक अब ज्यादातर लोग ऑनलाइन ट्रांजेक्शन (income tax rules for transaction) करने लगे हैं, लेकिन फिर भी कैश में लेन-देन करने वालों की कमी नहीं है। ऐसे में वे आयकर विभाग की रडार में आ सकते हैं।
नोटिस से बचना है तो न करें ये काम-
1. एक वित्त वर्ष में कोई एक या अधिक बैंक खाते में 10 लाख कैश (rules on 10 lakh rupees)जमा कराता है तो नोटिस आ सकता है। इसके अलावा आयकर विभाग को इस बारे में नहीं बताते हैं तो भी नोटिस व कानूनी कार्रवाई का सामना करना पड़ सकता है। ग्राहक को इस कैश (cash payment limits)का स्रोत भी बताना होगा। इसमें असफल रहने पर आप विभाग के रडार पर आ सकते हैं।
2. कोई बैंक ग्राहक एक लाख रुपये से ज्यादा की एफडी (Fixed deposit) एक ही बार में कैश देकर करवाता है तो भी नोटिस का सामना करना पड़ सकता है। इस बारे में पहले ही विभाग को सूचित कर देना होता है। इस जानकारी को छुपाना महंगा पड़ सकता है।
3. क्रेडिट कार्ड का यूज (credit card rules)आजकल अनेक लोग करने लगे हैं। इसके बिल का भुगतान हालांकि ऑनलाइन कर सकते हैं लेकिन कई लोग कैश में भुगतान करते हैं। क्रडिट कार्ड का बिल एक लाख रुपये से ज्यादा है और इसे कैश में भुगता रहे हैं तो भी आपको आयकर विभाग का नोटिस आ सकता है। इस जानकारी को इनकम टैक्स विभाग (income tax new rules) को बताना जरूरी है।
4. दस लाख रुपये या उससे ज्यादा के भुगतान को लेकर नियम (new rules for cash deposit) है कि किसी भी वित्त वर्ष में किसी भी तरीके से इतना लेन-देन किया जाए, इसकी सूचना इनकम टैक्स विभाग को जरूर दें, नहीं तो नोटिस आना तय है।
5. अक्सर कोई प्रोपर्टी (property bying rules) खरीदते समय लोग कैश में बड़ा लेन देन करते हैं। यह विभाग की निगरानी में आने पर आपको नोटिस आ सकता है। कोई भी संपत्ति खरीदने समय 30 लाख रुपये से ज्यादा नकद पेमेंट (rules for cash payment) नहीं की जानी चाहिए। विभाग से इस बात को छुपाना भी आपको महंगा पड़ सकता है और नोटिस का सामना करना पड़ेगा। साथ ही इस पैसे का स्रोस भी बताना होगा। स्रोत बताने में असमर्थ रहते हैं तो आप पर विभाग बड़ा एक्शन ले सकता है।