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SBI, PNB, HDFC और ICICI बैंक ग्राहकों को अब इतना रखना होगा मिनिमम बैलेंस, जान लें नियम

Minimum Balance in Savings Accounts :हर व्यक्ति का बैंक में अकांउट होता है। कई बार सरकारी योजनाओं को फायदा उठाने के लिए लोग एक से ज्यादा अकाउंट ओपन करा लेते हैं। किंतु ऐसे में अकाउंट होल्डर्स को इस बात का पता नहीं होता है कि उन्हें अपने अकाउंट में कम से कम कितना बेलेंस रखना चाहिए। अगर आपका अकाउंट भी SBI, PNB, HDFC या ICICI बैंक में है तो आईये नीचे जानते हैं आपको अपने खाते में कितना मिनिमम बैलेंस रखना होगा। 

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SBI, PNB, HDFC और ICICI बैंक ग्राहकों को अब इतना रखना होगा मिनिमम बैलेंस, जानिये नियम

HR Breaking News - (Minimum balance Rules)। अगर किसी व्यक्ति का बैंक में सेविंग अकाउंट है, तो ज्यादातर बैंक आपसे उसमें मिनिमम बैलेंस बनाए रखने की मांग करते हैं। हर बैंक में मिनिमम बैलेंस मेंटेन करने के अलग-अलग नियम होते हैं, जिसके तहत अकाउंट होल्डर्स को अपने अकांउट में उतना मिनिमम बैलेंस रखना चाहिए।

अगर व्यक्ति अपने अकाउंट में मिनिमम बैलेंस मेंटेन नहीं करते और बैंकों के नियमों का उल्लंघन करते हैं तो उस पर पेनल्टी चुकानी पड़ती है। आइए जानते हैं कि अब देश के इन बड़े बैंकों में मिनिमम बैलेंस रखने की लिमिट (Saving Acccount minimum balance Limit) क्या है।

 

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एचडीएफसी बैंक के मिनिमम बैलेंस की क्या है लिमिट-

 


अगर आप HDFC अकाउंट होल्डर्स हैं तो आपके मिनिमम बेलेंस रखने की एक लिमिट (HDFC Bank minimu balance limit) तय की गई है। दरअसल, निजी क्षेत्र बड़े बैंक एचडीएफसी बैंक के शहरी खाता धारकों को अपने सेविंग अकाउंट में कम से कम 10,000 रुपये का औसत बैलेंस रखना जरूरी है। वहीं, जो अर्ध-शहरी इलाकों और ग्रामीण इलाकों के अकाउंट होल्डर्स है उनके लिए कम से कम 5,000 रुपये और 2,500 रुपये की सीमा निर्धारित की गई है।

 

स्टेट बैंक ऑफ इंडिया का नियम-

 


देश के सबसे बड़े प्राइवेट सेक्टर के बैंक स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (SBI) ने मिनिमम बैलेंस की सीमा को मार्च 2020 में समाप्त कर दिया था लेकिन इससे पहले इसकी भी एक सीमा निर्धारित की गई थी। इससे पहले शहरी क्षेत्र के ग्राहकों को 3,000 रुपये, अर्ध-शहरी क्षेत्र के ग्राहकों को 2,000 रुपये और ग्रामीण क्षेत्र के ग्राहकों को 1,000 रुपये का मिनिमम बेलेंस रखना अनिवार्य (SBI Bank me Minimu balance ki limit) होता था।

 

पंजाब नेशनल बैंक की मिनिमम बैलेंस रखने की सीमा


वहीं, पंजाब नेशनल बैंक (PNB) के मिनिमम बैलेंस के नियमों की बात करें तो पंजाब नेशनल बैंक में मेट्रो और शहरी क्षेत्र के ग्राहकों को कम से कम मिनिमम बैलेंस 2,000 रुपये रखना होता है। इसके अलावा अर्ध-शहरी क्षेत्रों और ग्रामीण इलाकों के लिए ये सीमा 1,000 रुपये और 500 रुपये निर्धारित (Punjab National Bank Minimum Balance Limit) की गई है।

ICICI बैंक ग्राहकों को कितना रखना होगा मिनिमम बैलेंस-


ICICI बैंक भी इस लिस्ट में शामिल है। इस बैंक में मेट्रो और शहरी क्षेत्र के ग्राहकों को औसत न्यूनतम बैलेंस 10,000 रुपये निर्धारित की गई है। वहीं, अर्ध-शहरी क्षेत्रों के ग्राहकों के लिए 5,000 रुपये की सीमा निर्धारित की गई है और ग्रामीण क्षेत्र के ग्राहकों को 2,000 रुपये का औसत न्यूनतम बैलेंस (ICICI Bank me kitna Rakh skte hai minimu balance) रखना होता है।

जानिए क्यों लागू करता है बैंक मिनिमम बैलेंस की सीमा-

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आज भी कई लोगों को इस बारे में जानकारी नहीं है कि बैंकों की ओर से मिनिमम बैलेंस की सीमा क्यों निर्धारित की जाती है। आपको बता दें कि बैंकों की ओर से न्यूनतम बैलेंस (Saving Account me minimu balance limit) रखने का सबसे बड़ा कारण बैंकिंग परिचालन में आने वाली लागत है। अगर ग्राहक अपने अकाउंट में मिनिमम बैलेंस नहीं रखेंगे, तो इससे बैंक को भारी नुकसान हो सकता है।  

मिनिमम बैंलेंस को लेकर RBI का नियम


कई ऐसे मामले भी सामने आए हैं जब ग्राहकों के अकाउंट में मिनिमम बैलेंस (Minimum Account Balance Rules)  नहीं रहता तो बैंक चार्ज लगाते हैं और उनका अकाउंट माइनस में चला जाता है।   क्या ऐसा करने का बैंकों के पास अधिकार है? इस बारे में रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) का नियम क्या कहता है? रिजर्व बैंक ने ऐसे ही मामले में यस बैंक पर 90 लाख रुपये का जुर्माना लगाया है।
RBI का नियम है कि यदि ग्राहकों ने अपने बैंक खाते में न्यूनतम बैलेंस को मेंटेन (minimum balance maintain rules) नहीं किया है फिर भी चार्ज के नाम पर उनके खातों का बैलेंस माइनस में नहीं कर सकते। यदि ग्राहकों के बैंक खाते में न्यूनतम बैलेस से जितना भी कम पैसा है, उसे काटा जा सकता है। लेकिन नेगेटिव बैलेंस नहीं कर सकते।


RBI ने लगाया जुर्माना


मिनिमम बैलेंस नहीं रखने वाले कई ग्राहकों के खातों के बैलेंस को माइनस करने के कारण केंद्रीय (RBI) ने यस बैंकसे 90 लाख रुपये का जुर्माना वसूला। आरबीआई ने इसे लेकर साल 2014 में निर्देश जारी किये थे। जिसमें साफ तौर पर कहा था कि बचत खातों (savings accounts) में न्यूनतम बैलेंस नहीं होने पर खाते के बैलेंस को माइनस में नहीं कर सकते।