Success Story: एक दाे नहीं, 20 बार फेल होने के बाद भी नहीं मानी हार, 10 हजार रुपये से बनाया 500 करोड़ का कारोबार
Success Story : सफलता और असफलता दोनों एक ही सिक्के के दो पहलू होते हैं। कोई जरूरी नहीं कि सफलता एक बार ही मिल जाए, कई बार असफलताएं भी सफल होने का कारण बन जाती हैं। ऐसी ही कहानी के बारें में आज हम आपको बताने वाले है। यह शख्स बार-बार फेल हुआ, लेकिन आखिरी में उन्होंने 500 करोड़ की कंपनी खड़ी कर दी। आइए जान लेते है इस व्यक्ति की पूरी कहानी...

HR Breaking News, Digital Desk : कोई भी सफल इंसान अपनी असफलता से हताश नहीं होता है, वो इन असफलताओं को पीछे छोड़कर आगे बढ़ता है और फिर दुनिया के सामने कामयाबी की नई तस्वीर पेश करता है। असफलता ही सफलता की राह दिखाती (success story) है। ज्यादातर लोगों को लगता है कि यह सब किताबी बातें हैं। लेकिन, दुनिया में कुछ लोग ऐसे हैं जिन्होंने इस किताबी बात की सच्चाई पर अपनी मेहनत से मुहर लगाई है। बिजनेस, एग्जाम से लेकर जिंदगी की हर लड़ाई में कई लोगों ने बार-बार असफल होने के बाद कामयाबी पाई है। उन्हीं लोगों में से एक हैं विकास डी नाहर (Vikas D Nahar)।
यह कामयाब बिजनेसमैन (businessman success story) अपनी कंपनी हैप्पिलो को सफलतापूर्वक लॉन्च करने से पहले 20 बार नाकामयाब हुए। लेकिन, इतनी बार हार का मुंह देखने के बाद भी विकास ने जीत की जिद नहीं छोड़ी।
इन सग प्रयासों का नतीजा यह हुआ कि अब वह एक बड़ी कंपनी के मालिक हैं जिसकी कीमत 500 करोड़ रुपये है। विकास डी नाहर की कंपनी हैपिलो (Happilo net worth), ड्राय फ्रूट्स, मेवे और हेल्दी स्नैक्स में एक दिग्गज ब्रांड है। अपनी असफलताओं से सबक लेते हुए विकास नाहर ने कहा, ‘स्टार्टअप को कामयाब बनाने के लिए एक लंबी दूरी तय करनी पड़ती है।’ आइये जानते हैं आखिर विकास नाहर ने कैसे 10,000 रुपये की पूंजी से शुरुआत करके 500 करोड़ की कंपनी खड़ी कर डाली।
अपने परिवार से सीखे बिजनेस के उसूल
बता दें कि विकास नाहर पिछले साल उस वक्त सुर्खियों में आए जब लोकप्रिय रियलिटी टीवी शो ‘शार्क टैंक इंडिया’ में उन्होंने गेस्ट जज के तौर पर दिखाया गया। कर्नाटक के किसान परिवार में जन्मे विकास को बिजनेस के गुण विरासत में मिले, क्योंकि उनका परिवार कॉफ़ी और काली मिर्च की खेती करता (success story) था।
हालांकि, हर बच्चे की तरह उन्होंने भी पहले अपनी पढ़ाई पूरी की। 2005 में, विकास ने बैंगलोर यूनिवर्सिटी से कंप्यूटर एप्लीकेशन में ग्रेजुएशन किया। इसके बाद उन्होंने जैन ग्रुप के लिए वरिष्ठ इंपोर्ट मैनेजर के रूप में काम करना शुरू किया। लेकिन, कुछ समय तक वहां काम करने के बाद, नाहर ने सिम्बायोसिस इंटरनेशनल यूनिवर्सिटी में एमबीए करने के लिए इस्तीफा दे दिया
20 आइडिया फ्लॉप होने के बाद 21वें में मिली कामयाबी
अगर इनकी पढ़ाई की बात की जाए तो विकास नाहर ने सिम्बायोसिस इंटरनेशनल यूनिवर्सिटी (2008 – 2010) से एमबीए किया है। पढ़ाई पूरी करने के बाद उन्होंने कुछ साल फैमिली बिजनेस किया। इसके बाद, उन्होंने 2016 में हैप्पीलो लॉन्च किया। कंपनी का पहला उत्पाद ‘ट्रेल मिक्स’ तुरंत हिट हुआ।
हालांकि, हैप्पीलो को लॉन्च (launch of happylo) करने से पहले उन्हें बार-बार असफलता का मुंह देखना पड़ा। इससे पहले विकास नाहर ने लगभग 20 नए बिजनेस वेंचर शुरू किए लेकिन असफल रहे।
रिपोर्ट के अनुसार, एक इंटरव्यू में उन्होंने खुद बताया किया कि हैप्पीलो को शुरू करने के लिए (start happylow in 10 thousand rupees) उनके पास सिर्फ 10,000 रुपये की जमा पूंजी और केवल 2 कर्मचारी थे। लेकिन, अब यह कंपनी 500 करोड़ का मार्केट वैल्यूएशन पार कर गई है। हैपिलो अमेजन, फ्लिपकार्ट समेत अन्य ई-कॉमर्स साइट पर अपने प्रोडक्ट की बिक्री करती है। इनमें 40 तरह के ड्राई फ्रूट 60 तरह के मसाले और 100 तरह के चॉकलेट शामिल हैं।