home page

Success Story : रिटायरमेंट के बाद शुरू किया खुद का बिजनेस, खड़ी कर दी 12,000 करोड़ की कंपनी

Success Story : सफलता की कहानी तो अपने खूबसूरत नहीं होगी लेकिन आज हम आपको ऐसे आदमी के बारे में बताने जा रहे हैं, जिसने अपनी रिटायरमेंट के बाद खुद का बिजनेस शुरू किया और अब खड़ी कर दी 12000 करोड रुपए की कंपनी, आइये खबर में जानते हैं पूरी जानकारी।

 | 

HR Breaking News, Digital Desk - सयाने लोग कहते हैं कि नौकरी करना सबसे आसान काम होता है, क्योंकि कुछ जिम्मेदारियां जो आपके कंधों पर होती हैं, आपको केवल उन्हीं का निर्वाह करना होता है. महीने की 1 तारीख को आपके बैंक अकाउंट में सैलरी आ जाती है. इसी सैलरी में से घर और कार की ईएमआई भरने के बाद जिंदगी चलती रहती है.

नौकरी करने वाला कोई शख्स जब 40 साल का हो जाता है तो वह अपने करियर में चढ़ाव की तरफ चल रहा होता है. वहां से उसका नौकरी छोड़ना और अपना बिजनेस करना काफी मुश्किल होता है. परंतु, जो ऐसी मुश्किलों और चुनौतियों को भी पार कर जाएं वही बिजनेसमैन कहलाते हैं. इसी लिस्ट में नाम आता है सुधीर कोनेरु (Sudheer Koneru) का. इस शख्स ने दुनिया की सबसे बड़ी टेक कंपनियों में से एक माइक्रोसॉफ्ट में नौकरी के बावजूद 2008 में रिटायर होने का फैसला लिया. उस वक्त उनकी उम्र केवल 40 साल थी. यह वह वक्त होता है जब हर नौकरी पेशा व्यक्ति अपने करियर में ऊंचाई की ओर बढ़ता है.


सुधीर ने आईआईटी मद्रास से कंप्यूटर साइंस में इंजीनियरिंग की डिग्री हासिल की थी. इसके बाद वह अमेरिका चले गए और वहां यूनिवर्सिटी ऑफ टेक्सास से मास्टर्स की डिग्री ली. उन्होंने अपने करियर की शुरुआत माइक्रोसॉफ्ट के साथ की थी. वहां वह अपनी प्रतिभा और लगन की बदौलत डायरेक्टर के पद तक पहुंचे. हालांकि, उन्होंने नौकरी छोड़ने का फैसला किया और खुद की कंपनी शुरू की.

3 कंपनियों के संस्थापक


सुधीर अब तक कुल तीन कंपनियां बना चुके हैं. इनमें से 2 उन्होंने काफी समय पहले बेच दी. माइक्रोसॉफ्ट से निकलने के बाद उन्होंने पहली कंपनी इंटेलीप्रेप टेक्नोलॉजीज बनाई. कुछ समय तक वह इस कंपनी के सीईओ भी रहे. बाद में ये कंपनी क्लिक2लर्न (Click2learn) के साथ मिला दी गई. क्लिक2लर्न पॉल एलेन की कंपनी थी जो माइक्रोसॉफ्ट के भी सह-संस्थापक थे. इसके बाद उन्होंने Sumtotal के नाम से एक कंपनी का निर्माण किया. इस कंपनी ने करीब 10 करोड़ डॉलर का रेवेन्यू जेनरेट करना शुरू किया ही था कि 2007 में उन्होंने इसे भी छोड़ दिया. 2008 में उन्होंने तय किया कि वह रिटायर हो जाएंगे.

फिर हुई वापसी


सुधीर ने रिटायरमेंट जरूर ले ली, लेकिन उन्हें रिटायर होना जमा नहीं. करीब 2 साल के अज्ञातवास के बाद सुधीर कोनरु ने एक बार फिर वापसी की और इस बार उनका बिजनेस पहले के 2 से काफी बेहतर साबित हुआ. उन्होंने वेलनेस, स्पा और सैलून को ध्यान में रखते हुए एक सॉफ्टवेयर को निर्माण किया, जिसका नाम था मैनेज माय स्पा (ManageMySpa). 2015 में कंपनी का नाम बदलकर जेनोटी (Zenoti) कर दिया गया. 2020 में ये कंपनी यूनिकॉर्न बन गई. गौरतलब है कि 1 अरब डॉलर से अधिक के वैल्युएशन वाले स्टार्टअप को यूनिकॉर्न कहा जाता है. उनके सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल 50 देशों में होता है. VentureIntelligence के अनुसार, उनकी कंपनी का मूल्यांकन आज 12,000 करोड़ रुपये के आसपास है.