Drinking Water Rule : एक दिन में कितना पानी पीना चाहिए, 90 प्रतिशत लोगों को नहीं है सही जानकारी

HR Breaking News : (Drinking Water Rule) शरीर को स्वस्थ रखना है तो सही मात्रा में पानी पीना जरूरी है। कहा जाता है खूब सारा पानी पीना सेहत के लिए अच्छा होता है। कई डॉक्टर्स का भी कहना है कि ज्यादा पानी पीने से बॉडी डिटॉक्स होती है और स्किन भी बेहतर होती है।
इन सब बातों पर गौर करके अकसर लोग लिमिट से ज्यादा पानी का सेवन कर लेते है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि जितना नुकसानदेह कम पानी पीना है, उतना ही हानिकारक ज्यादा पानी पीना भी हो सकता है। इसलिए आज हम आपको बताने वाले है कितना पानी पीना (Water Drinking Rules) आपके लिए सही रहेगा।
हमारे शरीर का 50-70% वजन पानी के कारण होता है। सेल्स हमारे शरीर के बिल्डिंग यूनिट होते हैं, जिन्हें जिंदा रहने के लिए पानी की जरूरत होती है। पानी की कमी (lack of water) के कारण सेल्स में मौजूद फ्लूड खत्म होने लगता है, जिसके कारण वे ठीक से फंक्शन नहीं कर पाते। इसलिए शरीर में सही मात्रा में पानी मौजूद होना जरूरी है।
साथ ही, पानी (Health effects of hydration) हमारी बॉडी से टॉक्सिन्स को बाहर निकालने और शरीर का तापमान नियंत्रित करने में मदद करता है। हमारी हर शारीरिक एक्टिविटी के दौरान पानी के इस्तेमाल होता है। इस वजह से खर्च हुए पानी की कमी को पूरा करना जरूरी है।
कितने गिलास पानी पीना सही...
एक व्यक्ति को कितना पानी पीना चाहिए, इस सवाल का जवाब कई फैक्टर्स पर निर्भर करता है। जैसा कि आप जानते हैं कि सभी की सेहत एक जैसी नहीं होती। हर व्यक्ति का रहन-सहन, खान-पान, जीवनशैली और मेडिकल कंडिशन्स अलग होती हैं, जिसकी वजह से पानी की जरूरत (body needs water) भी अलग होती है। ऐसा व्यक्ति जो ज्यादा समय तक धूप में रहता है, उसके शरीर को एसी में बैठे व्यक्ति की तुलना में ज्यादा पानी की जरूरत होगी।
इसलिए हर व्यक्ति को अपनी फिजिकल, ज्योग्राफिकल और मेडिकल कंडिशन (Drinking Water Rule) के आधार पर पानी की मात्रा (water drinking limit) तय करनी चाहिए। अमेरिकी की नेशनल अकादमी ऑफ साइंस, इंजीनियरिंग और मेडिकल के अनुसार, पुरुषों को एक दिन में 3.7 लीटर फ्लूड्स प्रति दिन लेना चाहिए। वहीं, महिलाओं को 2.7 लीटर फ्लूड प्रति दिन की जरूरत होती है।
हालांकि, इसके साथ ही इस बात का ध्यान रखना भी जरूरी है कि फ्लूड में सिर्फ पानी की बात नहीं की गई है, बल्कि इसमें खाने और अन्य पेय पदार्थों से मिलने वाला पानी भी शामिल है।